रांची: झारखंड सिमडेगा जिला के चर्चित जेवरात चोरी मामले में झारखंड पुलिस मुख्यालय के डीआईजी बजट शम्स तबरेज से सीआईडी ने पूछताछ की है. बीते साल रायपुर के एक जेवर दुकान में चोरी की घटना हुई थी. चोर गिरोह को सिमडेगा की बांसजोर पुलिस ने पकड़ा था, इसके बाद चोरी के जेवरात को पुलिस ने ही छिपा दिया था.इस मामले में तत्कालीन डीआईजी रांची ने जांच में सिमडेगा के तत्कालीन एसपी शम्स तबरेज की भूमिका पर सवाल उठाए थे.
सिमडेगा जेवरात चोरी मामला: डीआईजी बजट शम्स तबरेज से सीआईडी ने की पूछताछ, 25 लाख की चांदी हुई थी गायब
सिमडेगा के चर्चित जेवरात चोरी मामले में झारखंड पुलिस मुख्यालय में आईपीएस अधिकारी शम्स तबरेज से सीआईडी ने पूछताछ की है. जेवरात चोरी के मामले में तत्कालीन एसपी शम्स तबरेज की भूमिका पर डीआईजी रांची ने सवाल उठाए थे. जिसके बाद उनसे पूछताछ की गई है.
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जांच अधिकारी ने की पूछताछ: सीआईडी के जांच पदाधिकारी परवेज आलम बुधवार को पुलिस मुख्यालय पहुंचे थे. जहां उन्होंने आईपीएस अधिकारी शम्स तबरेज का बयान दर्ज किया. बीते साल रायपुर के एक जेवर दुकान में चोरी की घटना हुई थी. चोर गिरोह को सिमडेगा की बांसजोर पुलिस ने पकड़ा था, इसके बाद चोरी के जेवरात को पुलिस ने ही छिपा दिया था. इस मामले में तत्कालीन डीआईजी रांची ने जांच में सिमडेगा के तत्कालीन एसपी शम्स तबरेज की भूमिका पर सवाल उठाए थे. इसके बाद पुलिस मुख्यालय ने राज्य सरकार से शम्स तबरेज को जिले से हटाने की अनुशंसा की थी.लेकिन सरकार ने तब उन्हें पद से नहीं हटाया था.
एसपी की भूमिका कैसे पायी गई थी संदिग्ध: पूरे मामले में आरोपी एसआई आशीष कुमार के भाई ने सीआईडी और राज्य के आला अधिकारियों को एसपी शम्स तबरेज और आशीष कुमार के बातचीत की एक कथित ऑडियो दी थी. इस ऑडियो में एसपी के द्वारा एफआईआर करने और कुछ हटाने का निर्देश दिया गया है. माना जा रहा है कि ऑडियो में सिमडेगा एसपी के द्वारा ही थानेदार को निर्देश दिया गया था कि वह बरामद जेवर में से कुछ हटा ले. एसपी के आदेश पर ही थानेदार ने जेवर गायब किए थे. सिमडेगा एसपी पर थानेदार आशीष कुमार के परिजनों ने कई तरह के आरोप लगाए थे. हालांकि एसपी का तर्क था कि जिस वक्त थानेदार उससे बात कर रहे थे, इस दौरान वह खाना खा रहे थे, उन्होंने प्लेट से खाना कम करने की बात कही थी. सीआईडी की जांच में भी प्रथम दृष्टया संलिप्तता की बात सामने आयी थी, जिसके बाद सीआइडी ने इस मामले में बुधवार को पूछताछ की है.
क्या है पूरा मामला:गौरतलब है कि सिमडेगा पुलिस ने रायपुर से चोरी हुए जेवरात को 3 अक्तूबर 2021 को सिमडेगा के बांसजोर से बरामद किया था. लेकिन इसमें से तकरीबन 25 लाख की चांदी पुलिसकर्मियों ने ही गायब कर दिया था. मामला सामने आने के बाद सिमडेगा पुलिस के द्वारा ही गठित एसआईटी ने आरोपी एसआई आशीष कुमार, संदीप कुमार और पुलिस के चालक को जेल भेज दिया था. जेल भेजे गए पुलिसकर्मियों ने स्वीकार किया था कि उन्होंने चांदी की बड़ी खेप गायब कर दी थी. छतीसगढ़ पुलिस ने भी पूरे मामले में पुलिस मुख्यालय के समक्ष आपत्ति जतायी थी.