चाईबासा: पश्चिम सिंहभूम के पिलाई हॉल में प्रमंडल स्तरीय उद्यानिकी फसलों के विकास की संभावना के विषय पर परिचर्चा का आयोजन किया गया. इस दौरान बतौर मुख्य अतिथि पश्चिम सिंहभूम उपायुक्त आरवा राजकमल उपस्थित रहे. उन्होंने किसानों को खेती के विभिन्न तकनीक से अवगत कराया और कहा कि हर एक खेत को मॉडल के रूप में विकसित करना है.
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परती जमीन पर करें खेती
कार्यक्रम में कृषक मित्रों को संबोधित करते हुए पश्चिम सिंहभूम जिला उपायुक्त अरवा राजकमल ने कहा कि जिले में सेंसेक्स के अनुसार लगभग 3 लाख से अधिक किसान परिवार हैं. हकीकत में देखा जाए तो लगभग दो लाख ही ऐसे किसान हैं जिनका बैंक खाता सहित डाटा जिले में उपलब्ध है. उन्होंने कहा कि जिले में खेती योग्य जमीन बड़े पैमाने पर परती पड़े हैं. जिसका उपयोग कर किसान उद्यानिकी खेती कर अच्छी आमदनी कर सकते हैं.
लगाए जा रहे इमली प्रोसेसिंग प्लांट
उपायुक्त ने कहा कि जिले में 6 इमली प्रोसेसिंग प्लांट लगाए जा रहे हैं. इसकी शुरुआत सारंडा क्षेत्र से की जा रही है. जिसकी सफलता के बाद उसे बड़े पैमाने पर विकसित किया जाएगा. उन्होंने कहा कि फूड प्रोसेसिंग के माध्यम से किसान अच्छी आमदनी कमा सकते हैं उन्होंने कहा कि भविष्य में किसान फूड प्रोसेसिंग प्लांट लगाकर या किसानों के समूह के द्वारा फूड प्रोसेसिंग प्लांट के माध्यम से एक अच्छी आमदनी कर सकते हैं.
किसानों को खेती के विभिन्न तकनीक से कराया अवगत
प्रशिक्षण में आए जिला उद्यान पदाधिकारी और कृषि वैज्ञानिकों के माध्यम से कृषकों को खेती के विभिन्न तकनीक से अवगत कराया गया. उन्हें चित्र और चलचित्र के माध्यम से खेती के विभिन्न तरीकों के बारे में समझाया गया और आधुनिक तरीके से खेती करने के लिए प्रोत्साहित किया गया. कार्यशाला में कृषकों को कम लागत में कैसे अधिक लाभ कमाया जा सकता है. इसके लिए इंटरक्रॉपिंग तकनीक मल्टीलेयर तकनीक और विभिन्न तकनीकों की जानकारी किसानों को दी गई. इसके साथ ही उन्हें कौन-कौन सी सरकारी योजनाओं का लाभ दिया जाएगा. इस विषय पर भी जानकारी उपलब्ध कराई गई.