चाईबासा: पश्चिमी सिंहभूम जिला के खूंटपानी प्रखंड के अंचल निरीक्षक (सीआई) हरीश चंद्र पात्रो को भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) ने 10 हजार रुपये घूस लेते रंगे हाथ दबोचा है. हरीश चंद्र पात्रो मूल रूप से मंझारी थाना क्षेत्र के रोलाडीह का रहने वाला हैं .गोंटाई निवासी मधुसूदन हाईबुरू से जमीन का दाखिल-खारिज के लिए 10 हजार रुपये घूस मांगी गई थी. जिसकी शिकायत के बाद एसीबी ने कार्रवाई की है.
10 हजार रुपये घूस लेते खूंटपानी प्रखंड का अंचल निरीक्षक गिरफ्तार, दाखिल खारिज के लिए मांग रहा था रिश्वत
चाईबासा में खूंटपानी प्रखंड के अंचल निरीक्षक गिरफ्तार कर लिया गया है. निरीक्षक हरीश चंद्र पात्रो को भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो ने 10 हजार रुपये रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है. अंचल निरीक्षक जमीन का दाखिल-खारिज के लिए 10 हजार रिश्वत की मांग की थी.
रंगे हाथ पकड़ा गया अंचल निरीक्षक: हरीश चंद्र पात्रो को घूस लेते रंगे हाथ पकड़ा गया. मधुसूदन की शिकायत के बाद एसीबी ने उसे एक विशेष रासायन लगे नोट रिश्वत देने के लिए दिया था. मधुसूदन ने महुलसाई स्थित सीआई के आवास पर पहुंचकर जैसे ही घूस की रकम दी, वैसे ही पीछे से एसीबी के अधिकारी पहुंच गये। उन्होंने सीआई हरीश को नकद राशि के साथ पकड़ लिया. कानूनी प्रक्रिया पूरी करने के बाद सीआई हरीश चंद्र पात्रो को एसीबी अपने साथ जमशेदपुर ले गई है. बता दें कि 15 दिन के भीतर एसीबी ने चाईबासा क्षेत्र में भ्रष्टाचार के मामले में दूसरी बार कार्रवाई की है. 26 मई को मनेाहरपुर में वन विभाग के रेंजर को करीब 1 करोड़ रुपये की राशि के साथ गिरफ्तार किया गया था.
दाखिल खारिज के लिए 10 हजार रुपये: खूंटपानी प्रखंड के गोटाई गांव निवासी मधुसूदन हाईबुरू ने बताया कि उसका बड़ा भाई अजय कुमार हाईबुरू ने माटकोबेड़ा गांव में 15.25 डेसिमल जमीन खरीदी है. जमीन की रजिस्ट्री हो चुकी है. रजिस्ट्रेशन के बाद जमीन का दाखिल-खारिज के लिए 4 अप्रैल 2022 को आनलाइन आवेदन दिया था. आवेदन देने के कुछ दिनों बाद खूंटपानी अंचलाधिकारी के कार्यालय आकर वस्तुस्थिति का पता किया. उसी दौरान अंचलाधिकारी कार्यालय के सीआई हरीश चंद्र से मुलाकात हुई. उसने हरीश से आनलाइन म्यूटेशन के संबंध में पूछताछ की. तब हरीश ने उसे बताया कि इस म्यूटेशन के लिए 10 हजार रुपये देने पड़ेंगे, तभी म्यूटेशन हो पायेगा. इस दौरान मधुसूदन ने सीआई से काफी अनुरोध किया मगर सीआई ने कहा कि 10 हजार रुपये देने होंगे, तभी काम होगा. वो जायज काम के लिए घूस देना नहीं चाहता था इसलिए एसीबी में शिकायत कर दी. फलस्वरूप शनिवार को एसीबी ने सीआई हरीश को रंगे हाथ धर दबोचा.