ऊना: कोरोना काल मेंपिछले सवा साल से बिना छुट्टी के रीजनल अस्पताल ऊना की लेबोरेटरी में सीनियर लैब टेक्नीशियन के पद पर सेवाएं देने वाले दिनेश सिंह लगातर सेवाएं देने में जुटे हैं. जिल में कोरोना के मामले आने के बाद से आज तक संक्रमण की पहचान करने के लिए फ्रंटलाइन पर रहकर सैंपलिंग करते आ रहे हैं.
साहस का परिचय दे रहे दिनेश सिंह बन्याल
ऐसा नहीं है कि जिले में केवल मात्र एक ही स्थान पर संक्रमण की जांच के लिए सैंपल जुटाए जा रहे हैं लेकिन रीजनल अस्पताल ऊना एकमात्र ऐसा स्थान है, जहां पर एक ही व्यक्ति लगभग सवा साल से एक्टिव केस फाइंडिंग के तहत संक्रमितों के सैंपल ले रहा है. स्वास्थ्य विभाग में रियल हीरो की तरह काम करने वाले इस व्यक्ति का नाम दिनेश सिंह बन्याल है. रीजनल अस्पताल ऊना की लेबोरेटरी में सीनियर लैब टेक्नीशियन के पद पर सेवाएं देने वाले दिनेश सिंह इन विकट परिस्थितियों में भी बखूबी फर्ज को अंजाम देते हुए अन्य लोगों के लिए मिसाल बन कर सामने आए हैं.
दिनेश सिंहबन्याल लोगों के लिए बने मिसाल
दुनिया भर में फैली महामारी कोविड-19 के बीच जहां लोग खुद को और अपने परिवार को सुरक्षा देने के लिए घरों में बैठने को मजबूर हो रहे हैं. वहीं, स्वास्थ्य विभाग में सेवाएं देने वाले कुछ ऐसे भी रियल हीरो हैं जो निजी जीवन के साथ-साथ परिवार को भी दर किनार करते हुए रोजाना फ्रंट लाइन पर रहकर काम कर रहे हैं. ये ऐसे फ्रंटलाइन योद्धा हैं जो अपनी जिम्मेदारी निबाने के लिए हर एक दिन कोरोना संक्रमण से सुरक्षा के साथ सामना करते हैं. अगर कहीं छोटी से गलती हुई तो संक्रमित होने का खतरा सबसे ज्यादा रहता है. ये ऐसे फ्रंटलाइन वर्कर हैं जिनके लिए सरकारी सेवा में होने के बावजूद संडे मंडे या किसी भी राजपत्रित अवकाश के कोई मायने नहीं रह जाते हैं. लेबोरेटरी में सीनियर लैब टेक्नीशियन के पद पर कार्यरत दिनेश सिंह बन्याल इन्हीं कोरोना योद्धाओं में से एक हैं.
31 मार्च से आजतक लगातार कर रहे हैं कोविड सैंपलिंग