ऊना: कोरोना की प्रबल लहर के बीच आज जिला ऊना के मैड़ी में धार्मिक स्थल बाबा वडभाग सिंह में विश्वविख्यात होला मोहल्ला मेले का आगाज हो गया. कुछ दिन पूर्व सरकार ने इस मेले को रद्द करने का निर्णय लिया था, लेकिन उसके महज दो ही दिन के बाद एसओपी जारी करते हुए सरकार ने इस मेले के आयोजन को एक बार फिर हरी झंडी दे दी थी.
मेले के दौरान श्रद्धालुओं के लिए कई सारी व्यवस्थाएं की गई हैं, जिनमें कोविड-19 के तहत जारी गाइडलाइंस के पालन को लेकर काफी जोर दिया जा रहा है. इसका असर मेले के पहले ही दिन रविवार को साफ तौर पर देखने को मिला जब मेला क्षेत्र में इक्का-दुक्का श्रद्धालु ही दिखाई दिए.
विशेष परिस्थितियों में आयोजित किए जा रहे इस मेले के दौरान ना तो श्रद्धालुओं को यहां रुकने की अनुमति है और ना ही हर साल यहां सजने वाली अस्थाई दुकानों को इस बार स्थापित किया गया है.
10 दिन तक लाखों श्रद्धालु मेला क्षेत्र में डेरा डाले रहते हैं
गौरतलब है कि इस मेले के दौरान करीब 10 दिन तक लाखों श्रद्धालु मेला क्षेत्र में डेरा डाले रहते हैं. कुछ श्रद्धालु जहां स्थानीय भवनों को किराए पर लेकर रहते हैं तो कुछ लोग मेला क्षेत्र के खेतों में टेंट लगाकर पूरे 10 दिन बिता देते थे, लेकिन इस बार मेले में भाग लेने वाले श्रद्धालुओं के लिए कोविड-19 की नेगेटिव रिपोर्ट के अनिवार्य किए जाने के बाद मेले के पहले दिन मेला क्षेत्र पूरी तरह से खाली ही रहा.
दस दिनों तक मनाए जाने वाला यह मेला देश ही नहीं विदेश में भी खासा प्रसिद्ध है. पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, हिमाचल और देश के अन्यों हिस्सों से लाखों की तादाद में श्रद्धालु इस मेले में शरीक होने के लिए आते है. डेरा बाबा बडभाग सिंह जी बैरी साहिब के सेवादार तरसेम सिंह ने वताया कि इस स्थान पर बाबा बडभाग सिंह ने तप किया था और श्रद्धालु इस स्थान पर नतमस्तक होकर मानसिक और शारीरिक बिमारियों से मुक्ति पाते है.