शिमला:भारत की एप्पल स्टेट हिमाचल (Apple State Himachal) के रसीले सेबों की खुशबू महकने वाली है. सेब सीजन अगले हफ्ते से रफ्तार पकड़ने वाला है. इस बार प्रदेश में तीन करोड़ पेटी से अधिक सेब का उत्पादन होने का अनुमान है.
हिमाचल में चार लाख बागवान परिवार हैं और यहां सालाना 3500 से 4000 करोड़ रुपये का सेब कारोबार होता है. जिला शिमला में पूरे हिमाचल का अस्सी फीसदी सेब पैदा होता है. राज्य सरकार ने सेब सीजन (Apple Season) के लिए तैयारियां पूरी कर ली हैं. नियंत्रण कक्ष स्थापित किए जा चुके हैं.
पिछले साल मौसम और कोरोना के कारण सेब कारोबार प्रभावित हुआ था. अब की दफा आसार हैं कि सेब को मंडियों तक पहुंचाने में कोई खास दिक्कत नहीं होगी. हिमाचल में पिछले साल 2.80 करोड़ पेटी सेब उत्पादन हुआ था.
इस बार अकेले शिमला जिला में सवा दो करोड़ पेटी सेब उत्पादन (Apple Production) का अनुमान है. हिमाचल का सेब देश के महानगरों के फाइव स्टार होटलों में भी धाक जमा चुका है. दिल्ली, मुंबई, कोलकाता, मद्रास सहित देश के हर महानगर में हिमाचल के सेब की मांग रहती है. यहां सेब की परंपरागत रॉयल किस्म के अलावा विदेशी किस्मों का भी उत्पादन होता है.
हिमाचल प्रदेश में विगत डेढ़ दशक का आंकड़ा देखा जाए तो वर्ष 2010 में सबसे अधिक 4.46 करोड़ पेटी सेब का उत्पादन हुआ था. सेब उत्पादन के लिए शिमला जिला का जुब्बल, कोटखाई, नारकंडा, चौपाल, कोटगढ़, क्यारी, रोहड़ू इलाका विख्यात है.
शिमला जिला के अलावा कुल्लू, मंडी, किन्नौर, चंबा, लाहौल-स्पीति व सिरमौर में भी सेब पैदा होता है. कुछ सालों से प्रयोगधर्मी लोगों ने गर्म जलवायु वाले इलाकों में भी सफलतापूर्वक सेब को उगाया है. हिमाचल से बागवानी विभाग (Horticulture Department) के निदेशक डॉ. जेपी शर्मा के अनुसार इस सेब सीजन में तीन करोड़ पेटी से अधिक सेब उत्पादन का अनुमान है.
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