शिमला:हिमाचल प्रदेश में स्क्रब टायफस ने दस्तक दे दी है. बीते चार दिनाें में छह मामले आईजीएमसी में स्क्रब टायफस के आए हैं. एक मामला ठियाेग क्षेत्र से आया है. इसके अलावा तीन मामले राेहड़ू और दाे रामपुर के हैं. इनमें चार महिलाएं और दाे पुरूष हैं.
स्क्रब टायफस के मामले आने के बाद प्रशासन अलर्ट हाे गया है. लाेगाेें काे जरूरी एहतियात बरतने की सलाह दी जा रही है. जिला के सभी अस्पतालाें में जरूरी एडवाइजरी दे दी गई है. इसके अलावा प्रशासन ने दवाओं का स्टाॅक भी उपलब्ध करवा दिया है.
हालांकि आईजीएमसी में पहले ही स्क्रब टायफस काे लेकर तैयारियां कर ली गई थी. अब प्रशासन यहां आने वाले हर संदिग्ध का स्क्रब टेस्ट करवाएगा ताकि स्क्रब टायफस का शुरुआत में ही पता लगाया जा सके. स्क्रब टायफस जुलाई से लेकर नवंबर तक फैलता है. ठंडे इलाकाें में इसके ज्यादातर मरीज आते हैं.
ऐसे फैलता है स्क्रब टायफस
स्क्रब टायफस एक संक्रामक बीमारी है जो जानवरों में होने वाला मौसमी रोग है और मनुष्यों में आ जाता है. घास काटने गए या अन्य बाहरी कार्य के दौरान व्यक्ति संक्रमित कीट (चिगर्स) द्वारा काटे जाने पर इस बीमारी से ग्रसित हो सकता है. किसान, बागवान, खेतों या बगीचों में काम करने वाले मजदूर और अन्य कार्यों के लिए बाहर जाने वाले लोगों को इससे संक्रमित होने का ज्यादा खतरा रहता है. खेतों में पाए जाने वाले चूहे संक्रमण का मुख्य स्रोत हैं. स्क्रब टायफस एक मनुष्य से दूसरे मनुष्य में नहीं फैलता.