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शिमला जिले में ट्रैफिक बढ़ने के बावजूद 2022 के मुकाबले सड़क हादसों में 50% की कमी, जानें क्या रही वजह?

शिमला जिले में ट्रैफिक बढ़ने के बावजूद 2022 के मुकाबले अगर 8 माह के आंकड़ों पर नजर डाले तो इस साल 8 महीनों में सड़क हादसों में 50% की कमी आई है. पढ़िए पूरी खबर...(Shimla road accident case reduction) (Shimla traffic) (Shimla road accident case)

Shimla road accident case
सड़क हादसों का आंकड़ा

By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Sep 19, 2023, 7:49 AM IST

Updated : Sep 19, 2023, 10:14 AM IST

शिमला:हिमाचल प्रदेश की राजधानी जिला में 8 माह में साल 2022 के मुकाबले 2023 में सड़क दुर्घटनाओं में कमी हुई है. ट्रैफिक बढ़ने के बावजूद भी दुर्घटना के मामले पहले से घटे हैं. साथ ही सड़क हादसों में जानी नुकसान के भी मामले कम आये हैं. पिछले सालों के मुकाबले में सड़क हादसों के मामले 50 फीसद तक की कमी आई है. शहर से लेकर ऊपरी शिमला में लगातार सड़क दुर्घटनाएं घट रही है.

इस साल 50 फिसदी सड़क हादसों में कमी: शिमला जिला में ट्रैफिक बढ़ने के बावजूद साल 2022 के मुकाबले 2023 में सड़क दुर्घटनाओं में कमी आई है. साल 2022 में जिला में 8 माह में 221 सड़क हादसे हुए थे, जबकि मौजूदा साल 2023 में इन्हीं 8 माह में 193 सड़क हादसे हुए हैं. सड़क दुर्घटनाओं में 2022 में 8 माह में 112 लोगों ने जान गंवाई थी. जबकि मौजूदा साल में अगस्त माह तक 83 लोगों की मौत हुई है या यूं कहे कि साल 2022 में 2023 की तुलना में शुरू के आठ माह में 29 मौते कम हुई है.

2022 में 8 महीने में सड़क हादसों का आंकड़ा

शिमला पुलिस ने किया यातायात नियमों का पालन: वहीं, सड़क हादसों में हुए घायलों की बात करे तो 2022 में आठ माह में 468 लोग घायल हुए थे. जबकि 2023 में 306 घायल हुए हैं. सड़क हादसों के कम होने के पीछे पुलिस सतर्कता बढ़ने और यातायात नियमों का सही से पालन करना भी एक बड़ी वजह माना जा रहा है. इसका कारण पुलिस की ओर से चलाया गया जागरूक्ता अभियान व नए मोटर व्हीकल एक्ट को भी माना जा रहा है. वही पुलिस का तर्क है कि बीते सालों में शराब के नशे में गाड़ी चलाने और तेज रफ्तार के कारण सबसे अधिक सड़क दुर्घटनाएं हुई थी. इसलिए शिमला जिला ट्रैफिक पुलिस ने आधुनिक अल्कोहल सेंसर और लेजर स्पीडगन की मदद से सख्ती बरती.

2023 में 8 महीने में सड़क हादसों का आंकड़ा

पुलिस की सख्ती से सड़क हादसों में कमी: पुलिस का कहना है कि नियमित नाके लगाकर शराब के नशे में वाहन चलाने वालों के चालान किए गए और निर्धारित गति से अधिक रफ्तार में वाहन चलाने वालों के खिलाफ भी कार्रवाई की गई. जिसके चलते यातायात नियमों का पालन करने को लेकर लोग जागरूक हुए और सड़क हादसों में कमी आई.

सड़क हादसों में सालाना औसतन 1200 मौत:राज्य परिवहन विकास और सडक़ सुरक्षा परिषद के आंकड़ों के अनुसार देश में हर साल कुल सड़क हादसों में अकेले हिमाचल प्रदेश में 11 फीसद दुर्घटनाएं होती हैं. हिमाचल में हर 3 घंटे बाद एक व्यक्ति सड़क हादसे में मारा जाता है. प्रदेश में हर साल औसतन 1200 लोगों की मौत सड़क दुर्घटनाओं में होती है.

क्या कहते हैं एसपी शिमला:शिमला पुलिस अधीक्षक संजीव गांधी का कहना है कि साल 2022 के मुकाबले 2023 में सड़क दुर्घटनाओं और हादसों में कमी आई है. वहीं हादसों में जानी नुकसान भी कम हुआ है. पुलिस लोगों को जागरूक कर रही है कि वे यातायात नियमों का सख्ती से पालन करें. वहीं रूटीन नाके लगाए जा रहे हैं. अल्कोहल सेंसर और स्पीडोमीटर की मदद से नशे में गाड़ी चलाने वालों और तेज रफ्तारी करने वालों पर सख्ती की गई है.

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Last Updated : Sep 19, 2023, 10:14 AM IST

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