शिमला: हाल ही में संपन्न विधानसभा चुनाव में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गारंटी खूब चर्चा में रही. भाजपा की तरफ से कहा गया कि देश में सिर्फ एक गारंटी चलती है और वो मोदी की गारंटी है. मोदी की ये गारंटी तीन राज्यों राजस्थान, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में कांग्रेस पर भारी पड़ी है. इन राज्यों में विधानसभा चुनाव में भाजपा की धमाकेदार जीत का एक बड़ा फैक्टर मोदी की गारंटी माना जा रहा है.
इस जीत से उत्साहित भाजपा अब नए जोश के साथ मिशन 2024 को सक्सेसफुल बनाने में जुट गई है. हिमाचल में कांग्रेस पर मोदी की ये गारंटी भारी पड़ सकती है. कारण ये है कि कांग्रेस ने हिमाचल में विधानसभा चुनाव में दस गारंटियां दी थीं. उनमें से अधिकांश अधूरी हैं. अब सरकार के कार्यकाल का एक साल पूरा हो रहा है. ऐसे में भाजपा सुखविंदर सरकार से इन गारंटियों को लेकर सवाल कर रही है. साथ ही विपक्ष ने सरकार को घेरने की रणनीति भी बनाई है. न केवल शीतकालीन सत्र में विपक्षी दल भाजपा सरकार को घेरेगी, बल्कि लोकसभा चुनाव के दौरान भी जनता के बीच कांग्रेस की इन अधूरी गारंटियों को लेकर जनमत तैयार करेगी.
कांग्रेस सरकार ने सत्ता में आते ही ओपीएस बहाली की अपनी प्रमुख गारंटी को बेशक पूरा कर दिया है, लेकिन 18 से 60 साल की आयु वाली महिलाओं को 1600 रुपए प्रतिमाह, गाय व भैंस के दूध की खरीद, गोबर खरीद, पहली ही कैबिनेट में एक लाख सरकारी नौकरियों वाली बड़ी गारंटियां अधूरी हैं. भाजपा ने विधानसभा के मानसून सत्र में भी महिलाओं को 1500 रुपए वाली गारंटी को लेकर सरकार को खूब घेरा था. खासकर नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर व भाजपा के तेजतर्रार नेता व पूर्व पार्टी मुखिया सतपाल सिंह सत्ती ने सुखविंदर सिंह सरकार को पर खूब तंज कसे थे.
हकीकत ये है कि कांग्रेस को महिलाओं को 1500 रुपए प्रति माह देने वाली गारंटी पर जवाब देना मुश्किल हो जाता है. पार्टी कार्यकर्ताओं के पास अब यही बहाना है कि सरकार चरणबद्ध तरीके से गारंटियों को लागू करेगी. सीएम सुखविंदर सिंह भी कह चुके हैं कि ये गारंटियां पांच साल के लिए हैं, लेकिन भाजपा ने भी सरकार को घेरने में कोई कसर नहीं छोड़ी है. भाजपा ने विधानसभा चुनाव के समय के कांग्रेस नेताओं के उन वीडियो को साझा करना शुरू कर दिया है, जिसमें सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू व अन्य 1500 रुपए प्रतिमाह व दूध खरीद जैसी गारंटियों की बात कह रहे हैं.
कांग्रेस सरकार ने सत्ता में आने के बाद लाहौल घाटी की 800 महिलाओं को जरूर 1500 रुपए प्रति माह देने की प्रक्रिया शुरू की है, लेकिन राज्य के अन्य जिलों की महिलाओं को कब ये पैसे मिलेंगे, इसे लेकर कांग्रेस कार्यकर्ता व नेता खामोश हैं। कांग्रेस की एक अन्य बड़ी गारंटी ग्रामीण इलाके में पशुपालकों से दूध की खरीद थी. कांग्रेस ने वादा किया था कि गाय का दूध अस्सी रुपए प्रति किलो व भैंस का दूध सौ रुपए प्रति किलो के हिसाब से खरीदा जाएगा. हर पशुपालक से गाय व भैंस का दस लीटर दूध रोजाना खरीदा जाएगा. इस तरह गाय का दूध महीने भर में 24 हजार रुपए व भैंस का दूध महीने भर में 30 हजार रुपए का लिया जाना था. कई पशुपालकों ने इस गारंटी पर भरोसा करके गाय व भैंस खरीद लीं, लेकिन अब वे परेशान हैं.