शिमला: राजधानी शिमला में पार्किंग की समस्या से निजात दिलाने के लिए टूटीकंडी में बहुमंजिला पार्किंग का निर्माण तो किया गया है, लेकिन इस पार्किंग पर अब सरकार की नजर है. सरकार ने नेताओं और अफसरों की गाड़ियों की पार्किंग के लिए छह फ्लोर की इच्छा जताई है.
प्रदेश सरकार अपने नेताओं और अफसरों की करीब 150 गाड़ियों को पार्क करने के लिए यहां पर जगह की मांग कर रही थी, लेकिन विरोध के बाद सरकार ने अपने हाथ पीछे खिंच लिए लिए थे. वहीं, अब सरकार ने फिर गाड़ियों की पार्किंग के लिए छह फ्लोर की इच्छा जताई है.
सूत्रों की माने तो उच्च अधिकारियों ने पार्किंग का जायजा भी लिया है और उसमें निगम के अधिकारी भी मौजूद थे. हालांकि अभी तक लिखित में कोई मांग सरकार की तरफ से नहीं आई है. सरकार की डिमांड के बाद नगर निगम के अरमानों पर भी पानी फिर गया. 13 मंजिला इस पार्किंग के चलने से नगर निगम को आय की उम्मीद थी.
यहां पर 700 गाड़ियां पार्क होनी है, लेकिन इस पार्किंग में अब सरकार ने छह फ्लोर अपने पास रखने की इच्छा जताई है. पहले ही इस पार्किंग में सीएम हेल्पलाइन के लिए दो फ्लोर सरकार को दिए गए हैं. ऐसे में निगम के पास नाममात्र के फ्लोर पार्किंग स्थल में रहेंगे, जिससे आम जनता की पार्किंग की समस्या हल नहीं होगी.
सरकार की डिमांड के बाद अब इस पार्किंग के टेंडर को लेकर भी निगम असमंजसस में है. निगम ने 13 फ्लोर के लिए टेंडर आमंत्रित किया है जो 31 अक्टूबर तक पूरे किए जाएंगे.
नगर निगम की महापौर कुसुम सदरेट का कहना है पार्किंग में पहले ही दो फ्लोर आईटी विभाग को दिए हैं . वहीं, सरकार ने और फ्लोर की मांग की है. प्रदेश सरकार की तरफ से अभी तक कोई प्रपोजल नहीं आया है. उन्होंने कहा कि पार्किंग को लेकर टेंडर प्रक्रिया पूरी कर ली गई है और 31 अक्टूबर को टेंडर खोला जाएगा.
बता दें कि 2013 में इस पार्किंग का निर्माण कार्य शुरू किया गया था. ये पार्किंग 82 करोड़ की लागत से बनाई गई है. 29 नवंबर 2018 में सीएम ने हालांकि इस पार्किंग का उद्घाटन भी कर दिया, लेकिन नगर निगम इसकी टेंडर प्रक्रिया ही पूरी नहीं कर पा रहा. वहीं, अब सरकार अपने प्रयोग के लिए आधे फ्लोर मांग रही है. ऐसे में जनता को गाड़ियों को पार्क करने के लिए पर्याप्त जगह नहीं मिलेगी.