शिमला:हिमाचल के चंद्रताल में फंसे 250 यात्रियों को निकालने के लिए लगातार प्रयास जारी है. 18 घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद बर्फ के रास्ते को साफ करते हुए राहत एवं बचाव दल चंद्रताल तक पहुंच चुका है. सीएम सुखविंदर सिंह ने इसकी जानकादी दी है. उन्होंने कहा कैबिनेट मंत्री जगत सिंह नेगी और सीपीएस संजय अवस्थी 18 घंटे के कड़े संघर्ष के बाद, बर्फ से ढके रास्ते को साफ करवाते हुए चंद्रताल पहुंच चुके हैं. सीएम ने कहा जगत सिंह नेगी ने सेटेलाइट फोन से उन्हें इसकी जानकारी दी है. चंद्रताल में फंसे 200 यात्रियों को निकालने का काम बहुत जल्द शुरु होने वाला है. अब चिंता की कोई बात नहीं है.
सीएम ने कहा जगत सिंह नेगी और सीपीएस के साथ ही हमारे फ्रंटलाइन कार्यकर्ता और कर्मचारी -10 डिग्री सेल्सियस और 15,000 फीट की ऊंचाई पर ऑक्सीजन की कमी के बावजूद कुंजुम दर्रे पर सड़क को बहाल करने के लिए रात से अथक परिश्रम कर रहे हैं. सीएम ने कहा मेरी अभी सैटेलाइट फोन के जरिए जगत सिंह नेगी और सीपीएस से जुड़ा हूं.
सीएम सुक्खू ने कहा कुंजुम दर्रा चंद्रताल झील से जुड़ता है. बीते दिनों भारतीय वायु सेना के पायलट ने चंद्रताल में हैलीपैड न होने की वजह से जाने से मना कर दिया था. उन्होंने कहा चंद्रताल में देशभर से आए 250 से ज्यादा पर्यटक फंसे हुए हैं. उन्हें सुरक्षित बाहर निकालना सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है. इसलिए इस ऑपरेशन की व्यक्तिगत रूप से निगरानी और कार्यान्वयन के लिए राज्य सरकार के दो मंत्रियों को नियुक्त किया गया है.
सीएम सुक्खू ने भारतीय वायु सेना के प्रयासों को लेकर आभार व्यक्त किया है. उन्होंने कहा इस बचाव और राहत अभियान में भारतीय वायु सेना ने अत्यधिक और चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों के बावजूद, चंद्रताल झील से बीमार 7 व्यक्तियों को बचाकर असाधारण कौशल का प्रदर्शन किया है. चंद्रताल में कीचड़ भरी स्थिति और हेलीपैड की अनुपलब्धता के कारण, यहां बड़े पैमाने पर हवाई निकासी संभव नहीं थी. सीएम सुक्खू ने कहा कि भारतीय वायु सेना ने इसके अलावा उत्खनन और भारी मशीनरी के परिवहन में सहायता के लिए सीएच-47 चिनूक हेलीकॉप्टर तैनात करने की पेशकश की है.
ये भी पढ़ें:हिमाचल प्रदेश की कुल्लू घाटी में फंसे करीब 25 हजार लोगों को निकाला गया सुरक्षित, चंद्रताल में फंसे 250 सैलानियों के लिए रेस्क्यू ऑपरेशन जारी