शिमला: हिमाचल प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल आईजीएमसी में सीटी स्कैन एमआरआई मशीन अक्सर खराब रहती है, जिसके कारण दूरदराज से आने वाले मरीजों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है. मशीन की खराबी का एक मुख्य कारण है कि यह काफी पुरानी है. जिससे यह मशीन बार-बार खराब होती रहती है. ऐसे में आईजीएमसी प्रशासन नई एमआरआई मशीन खरीदने की तैयारी कर रहा है, जिससे अस्पताल में एमआरआई की सुविधा मरीजों को मिल सके और निजी अस्पताल में महंगा एमआरआई न करवाना पड़े.
आईजीएमसी अस्पताल प्रशासन अब जल्द ही एमआरआई मशीन खरीदने की तैयारी में है. इसके लिए अस्पताल प्रशासन ने सरकार से टेंडर की मंजूरी ले ली है. टेंडर होने के बाद एमआरआई की मशीन को खरीदा जाएगा. अब अस्पताल में आने वाले मरीजों को जल्द ही एक और एमआरआई मशीन की सुविधा मिलेगी.
बता दें कि अस्पताल में इस समय एमआरआई की सिर्फ एक ही मशीन है. यह भी काफी पुरानी हो चुकी है, जो बार-बार खराब होती रहती है. अस्पताल में आने वाले मरीजों के एमआरआई सिर्फ इसी मशीन से करवाए जाते हैं. जब भी यह मशीन खराब होती है तो लोगों को एमआरआई करवाने के लिए इंतजार करना पड़ता है. जबकि कई मरीज निजी अस्पताल में जाकर एमआरआई करवाने को मजबूर हो जाते हैं. जहां मरीजों को भारी दाम चुका कर एमआरआई करवाना पड़ता है.
अस्पताल में मरीजों के रोजाना 30 से 40 एमआरआई करवाए जाते हैं. मात्र एक ही एमआरआई मशीन होने के कारण इमरजेंसी के एमआरआई भी इस मशीन पर करवाए जाते हैं. जिस कारण इस मशीन पर ज्यादा बोझ पड़ता है और यह कुछ समय के बाद खराब हो जाती है. बीते दिनों भी एमआरआई मशीन के खराब होने के कारण लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा.
आईजीएमसी के एमएस डॉ. राहुल राव ने बताया कि मरीजों को नई एमआरआई मशीन की सुविधा मिलने वाली है. इसके लिए टेंडर किया जा रहा है. अस्पताल में एक ही एमआरआई मशीन होने के कारण सारा बोझ इसपर ही पड़ रहा था. अस्पताल में इलाज करवाने आने वाले मरीजों को हर सुविधा देने का प्रयास किया जा रहा है.
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