शिमला: हिंडनबर्ग की अडानी पर आई रिपोर्ट के बाद कांग्रेस ने केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल रखा है. कांग्रेस इस मामले पर लगातार विरोध प्रदर्शन कर रही है. इसी कड़ी में अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के आह्वान पर हिमाचल कांग्रेस ने शिमला में राजभवन का घेराव किया और केंद्र सरकार के खिलाफ प्रदर्शन जमकर नारेबाजी की. प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सांसद प्रतिभा सिंह के नेतृत्व में प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने राज्यपाल के माध्यम से राष्ट्रपति को एक ज्ञापन भी भेजा, जिसमें इस प्रकरण की जेसीपी यानी संयुक्त संसदीय समीति से जांच करवाने की मांग की.
इस मौके पर एआईसीसी के प्रवक्ता एवं विधायक कुलदीप राठौर ने कहा है कि हिंडनबर्ग की रिपोर्ट से एक बड़ा स्कैंडल सामने आया है. इस रिपोर्ट में अडानी पर कई गंभीर आरोप लगाए गए हैं. उन्होंने कहा कि अडानी की कंपनियों में एसबीआई, एलआईसी से जबरदस्ती हजारों करोड़ रुपये का निवेश कराया गया. अब हिंडनबर्ग की रिपोर्ट के बाद अडानी समूह की कंपनियों के शेयरों में भारी गिरावट आई है, जिससे एसबीआई व एलआईसी के हजारों करोड़ रुपये डूब गए हैं. यह पैसा आम लोगों का था.
राठौर ने कहा कि देश में सरकारी उपक्रम को बेचने की साजिश की जा रही है. मुनाफे में चल रहे उपक्रमों को बेचा जा रहा है, यह आजाद भारत का सबसे बड़ा घोटाला है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस और अन्य दल संसद में संयुक्त संसदीय समिति यानी जेपीसी से जांच करवानी की मांग कर रहे हैं, लेकिन सरकार जांच नहीं करवा रही. उन्होंने कहा कि जेसीपी की जांच पूर्व में बोपोर्स मामले में भी करवाई गई थी, इस जांच सभी आरोप झूठे निकले. उन्होंने कहा कि जेपीसी में सभी दलों के सांसद शामिल होंगे, जिसमें बीजीपी के सांसद भी है तो सरकार जांच से क्यों कतरा रही. उन्होंने कहा कि अगर मोदी सरकार का दामन इतना पाक साफ है तो वह जांच से क्यों डर रही है. इससे लगता है कि दाल में काला है.