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Published : Mar 2, 2022, 7:43 PM IST

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कर्मचारियों के धरने पर रोक पर मुखर हुआ विपक्ष, लोकतंत्र के अधिकारों का हनन कर रही सरकार: कांग्रेस

हिमाचल में पुरानी पेंशन बहाली और शहर के प्रतिबंधित मार्गों पर कोई प्रदर्शन नहीं करने के मुद्दे पर कांग्रेस ने जयराम सरकार पर जमकर निशाना साधा है. कांग्रेस विधायक राजेंद्र राणा ने कहा कि लोकतंत्र में सभी को शांति पूर्ण तरीके से अपनी आवाज उठाने का अधिकार दिया गया है, लेकिन ये भाजपा सरकार तुगलकी फरमान जारी कर कर्मचारियों की आवाज दबाना चाहती है. वहीं, विधायक जगत नेगी ने कहा कि केंद्र की मोदी सरकार ओर प्रदेश की भाजपा सरकार संवैधानिक अधिकारों का हनन करने का काम (Congress accuses Jairam government) कर रही है.

Congress accuses Jairam government
कांग्रेस का जयराम सरकार पर आरोप.

शिमला: हिमाचल में पुरानी पेंशन बहाली (old pension scheme) को लेकर वीरवार को हजारों कर्मचारी विधानसभा के बाहर हल्ला बोलेंगे. वहीं, सरकार ने कर्मचारियों के धरना प्रदर्शन पर रोक लगा दी गई है और शहर के प्रतिबंधित मार्गों पर कोई प्रदर्शन नहीं किया जा सकता है, जिस पर विपक्ष मुखर हो गया है. वहीं, कर्मचारियों के अधिकारों के हनन करने के आरोप लगाए हैं. कांग्रेस विधायक राजेंद्र राणा ने कहा कि लोकतंत्र में सभी को अपनी आवाज शांति पूर्ण तरीके से उठाने का अधिकार दिया गया है, लेकिन ये भाजपा सरकार तुगलकी फरमान जारी कर कर्मचारियों की आवाज दबाना चाहती है.

शहर के प्रतिबंधित मार्गों पर प्रतिबंध लगाया गया है. ऐसे फरमान अंग्रेजी हुकूमत में जारी होते थे. वहीं, अब यह भाजपा सरकार जारी (Congress on jairam government) कर रही है. उन्होंने कहा कि ये सरकार डर गई है और ओल्ड पेंशन कर्मचारियों का हक है और ये भाजपा शासन काल में ही बंद की गई थी. राजस्थान सरकार ने पुरानी पेंशन बहाल की है और अब प्रदेश सरकार को भी इसे बहाल करना चाहिए.

कांग्रेस का जयराम सरकार पर आरोप.

वहीं, कांग्रेस विधायक जगत नेगी ने कहा कि केंद्र की मोदी सरकार ओर प्रदेश की भाजपा सरकार संवैधानिक अधिकारों का हनन करने का काम (Congress accuses Jairam government) कर रही है. हर वर्ग जो सरकार की नीतियों से खुश नहीं होता तो वे शांति पूर्ण तरीके से अपनी बात रख सकता है, लेकिन इस सरकार ने कर्मचारियों के धरने पर रोक लगा दी है. उन्होंने कहा कि जो सरकार को धमकाते हैं, उनकी मांगों को उसी समय में पूरा किया जाता है. ये सरकार शांतिपूर्ण तरीके से लोगों की आवाज नहीं सुन रही है.

धर्मशाला में शीतकालीन सत्र के दौरान एक आयोग बनने के लिए धमकाया गया तो सीएम ने भीड़ में जा कर घोषणा की. डॉक्टरों ने स्वास्थ्य सेवाएं ठप करने की चेतावनी दी तो उनकी मांगें मानी गई. वहीं, कर्मचारी जो मंडी से पैदल चल कर यहां पहुंच रहे हैं. उनकी मांगें सुनी भी नहीं जाती हैं. इस सरकार को जो डराता है उसी की आवाज ये सुनती है.

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