शिमला: मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने आज भारतीय उद्योग परिसंघ यानी सीआईआई के वार्षिक अधिवेशन की अध्यक्षता की. हिमाचल प्रदेश के लिए आगामी पांच वर्षों का विकास एजेंडा विषय पर आयोजित इस अधिवेशन में निवेश को सुविधा, रोजगार सृजन एवं विकास को गति देते हुए उन्नत हिमाचल पर चर्चा की गई. मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार व्यवस्था परिवर्तन के संकल्प के साथ कार्य कर रही है. सरकार प्रदेश में निवेश के लिए बेहतर वातावरण प्रदान करने के लिए ठोस कदम उठा रही है.
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि निवेशकों का उन्नत हिमाचल के निर्माण में अहम योगदान है. राज्य सरकार उनकी समस्याओं का त्वरित निदान कर उन्हें बेहतर सुविधाएं प्रदान करने की दिशा में काम कर रही है. उन्होंने कहा कि प्रदेश में उद्योगों की स्थापना और ज्यादा से ज्यादा निवेश आकर्षित करने के लिए प्रक्रियाओं को सरल बनाया जा रहा है. उन्होंने कहा कि सरकार निर्धारित समय में धारा 118 से संबंधित मंजूरी देने के लिए ठोस कदम उठा रही है.
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार इन्वेस्टमेंट ब्यूरो की स्थापना कर रही है, जिसके माध्यम से निवेश के लिए सभी मंजूरियां एक एक ही स्थान पर मिलने लगेंगी. प्रदेश में उद्योगों को न्यूनतम दरों पर 24 घंटे बिजली उपलब्ध करवाई जा रही है. उन्होंने आग्रह किया कि प्रदेश में उद्योगों की स्थापना को भी समयबद्ध करें ताकि उद्योग जगत एवं प्रदेश और यहां की जनता को शीघ्र इनका लाभ मिल सके. उन्होंने कहा कि उद्योग जगत खुले मन से कार्य करे.
आने वाले बजट में नजर आएगा सरकार का दृष्टिकोण:मुख्यमंत्री ने कहा कि आने वाले बजट में हिमाचल को प्रगति के रास्ते पर ले जाने के लिए सरकार का दृष्टिकोण नजर आएगा. राज्य सरकार पर्यटन क्षेत्र को विशेष प्राथमिकता दे रही है. उन्होंने कहा कि प्रदेश को वर्ष 2025 तक ग्रीन स्टेट बनाने का लक्ष्य रखा गया है. इसके लिए आगामी तीन वर्षों में राज्य ने ग्रीन हाइड्रोजन अपनाने का लक्ष्य रखा है और यह उद्योगों की जरूरतों को भी पूरा करेगा. प्रदेश में इलेक्ट्रिक वाहनों को प्राथमिकता देते हुए इसके लिए आधारभूत ढांचा भी विकसित किया जा रहा है.