करसोग: हिमाचल प्रदेश में बस किराया वृद्धि के फैसले पर जयराम सरकार की चौतरफा आलोचना हो रही है. इसी कड़ी में एनएसयूआई भी इस सरकार के इस फैसले को लेकर उग्र हो गई है. शनिवार को एनएसयूआई के राष्ट्रीय संयोजक केवल शर्मा के नेतृत्व में एनएसयूआई इकाई करसोग ने किराया वृद्धि के फैसले पर अपना विरोध जताया.
एनएसयूआई कार्यकर्ताओं ने एसडीएम कार्यालय करसोग के बाहर एकत्रित होकर प्रदेश सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. इस मौके पर एसडीएम के माध्यम से ज्ञापन भी सौंपा गया. जिसमें किराए में की गई वृद्धि के निर्णय को वापस लिए जाने की मांग की गई.
एनएसयूआई ने किराए वृद्धि पर कड़ा विरोध जताते हुए इस फैसले को जन विरोधी बताया. प्रदेश सरकार के निर्णय की आलोचना करते हुए एनएसयूआई ने कहा कि कोरोना काल की इस कठिन समय मे जनता पहले की परेशान है.
लॉकडाउन की वजह से बहुत से लोगों का रोजगार छिन गया है. इस दौरान कारोबार भी ठप हो गया है. कृषि और बागवानी पर भी कोरोना की मार पड़ी है. ऐसे में आर्थिक मंदी के कारण हर वर्ग आज परेशान है. इस तरह बिगड़ी आर्थिक हालत को पटरी पर लाने के लिए सरकार को जनहित में बड़े फैसले लेने चाहिए थे, लेकिन लोगों की भावनाओं के विपरीत सरकार ने बस किराया में 25 फीसदी की बढ़ौतरी कर दी.
ऐसे में मौजूदा सरकार अपने कार्यकाल में अब तक बस किराए में 50 फीसदी की वृद्धि कर चुकी है. जिससे महंगाई के इस दौर में प्रदेश की जनता काफी परेशान है. एनएसयूआई ने सरकार से किराया वृद्धि का फैसला तुरन्त प्रभाव से वापस लिए जाने की मांग की है.
एनएसयूआई के राष्ट्रीय संयोजक केवल शर्मा ने बताया कि प्रदेश सरकार ने हाल ही में बस किराया में 25 फीसदी की वृद्धि की है. इस तरह से दो सालों के अंदर ये बढ़ौतरी 50 फीसदी से अधिक हो गई है.
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