किन्नौर:आजाद भारत के पहले मतदाता मास्टर श्याम सरन नेगी ने आज सुबह करीब 3 बजे के आसपास अंतिम सांस ली और दुनिया को अलविदा कह दिया. ऐसे में जिला प्रशासन द्वारा आज उनका पूरे सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा. उनके निधन से परिवार और जिले में शोक की लहर दौड़ गई है. उनके घर पर लोगों का आना शुरू हो गया है और अंतिम संस्कार की प्रक्रिया भी शुरू कर दी गई है. जिसमें प्रशासनिक अधिकारी व कल्पा के ग्रामीण मौजूद रहेंगे. (Shyam Saran Negi funeral) (India first voter Shyam Saran Negi passes away)
बता दें कि मास्टर श्याम सरन नेगी का स्वास्थ्य काफी लंबे समय से खराब चल रहा था. उन्हें पैरों में काफी दर्द रहता था, आंखों से कम दिखाई देता था और उन्हें कान में भी दर्द था. उनके खराब स्वास्थ्य को देखते हुए 2 नवंबर 2022 को जिला प्रशासन द्वारा हिमाचल विधानसभा चुनाव 2022 के लिए डाक मतपत्र के जरिए उनके घर से ही उनका वोट लिया. मास्टर श्याम सरन नेगी के तीन बेटे और पांच बेटियां हैं. जिनमें से एक बेटे की काफी समय पहले मृत्यु हो गई थी. (India first voter cast his last vote on 2 Oct 2022) (Himachal Assembly Election 2022)
आजाद भारत के पहले वोटर बने थे श्याम सरन नेगी: बता दें कि ब्रिटिश हुकूमत से आजादी मिलने के बाद भारत में फरवरी 1952 में पहला आम चुनाव हुआ था. देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू चाहते थे कि भारत के जनजातीय इलाके भी आम चुनाव में हिस्सा लें. चूंकि जनजातीय इलाकों में बर्फबारी के कारण आवागमन अवरुद्ध हो जाता है, लिहाजा इन इलाकों में भारत के अन्य हिस्सों से पहले ही मतदान का फैसला लिया गया था और 25 अक्टूबर 1951 को जनजातीय क्षेत्र में चुनाव आयोजित किए गए. (first voter of india)