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पोंग विस्थापितों संग विधानसभा पहुंचे राजन सुशांत, पहले पुलिस से उलझे फिर CM से मिले - मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर

तपोवन में जारी विधानसभा सत्र के दूसरे दिन पूर्व सांसद राजन सुशांत दोपहर बाद पोंग बांध विस्थापितों के प्रतिनिधिमंडल के साथ विधानसभा परिसर पहुंचे. सांसद ने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से मुलाकात की और पोंग विस्थापितों की समस्या के बारे में अवगत करवाया.

Rajan Sushant reached assembly
पोंग विस्थापितों संग विधानसभा पहुंचे राजन सुशांत.

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Published : Dec 10, 2019, 10:34 PM IST

धर्मशाला: तपोवन में जारी विधानसभा सत्र के दूसरे दिन पूर्व सांसद राजन सुशांत दोपहर बाद पोंग बांध विस्थापितों के प्रतिनिधिमंडल के साथ विधानसभा परिसर पहुंचे. इस दौरान उन्होंने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से मुलाकात की और पोंग विस्थापितों की समस्या के बारे में अवगत करवाया.

मुख्यमंत्री से मुलाकात होने से पहले राजन सुशांत पुलिस से भी उलझते नजर आए. पहले वो आरक्षित गेट पर लोगों सहित डट गए. वहां से उन्हें जब दूसरे गेट से प्रवेश करवाया तो वहां कुछ लोगों की अंदर जाने के विरोध में पुलिस से उलझ गए.

इस दौरान सुशांत ने पुलिस प्रशासन को धमकाने की भी कोशिश की. उन्होंने कहा कि वह शांतिपूर्वक तरीके से मुलाकात करने आये है और उन्हें अगर ऐसा करने से रोका गया तो इसका विरोध किया जाएगा. पुलिस ने भी टकराव को टालते हुए सुशांत को लोगों सहित अंदर जाने दिया गया.

वीडियो रिपोर्ट.

राजन सुशांत ने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के सामने अपनी बात रखते हुए कहा कि पोंग बांध से विस्थापित हुए कई परिवार ऐसे हैं जो आज भी पोंग किनारे की जमीनों पर फसल लगाकर अपना जीवन यापन कर रहे है, लेकिन बीबीएमबी प्रशासन और वाइल्ड लाइफ विभाग ने यहां बिजाई करने से रोक लगा दी है जिस वजह से इन परिवारों की चिंता बढ़ गई है.

इसके साथ ही उन्होंने राजस्थान में पोंग विस्थापितों को दी जाने वाली ज़मीन के मामले को भी उठाया. उन्होंने बताया कि पोंग के पानी से राजस्थान के लोग खुशहाल हो गए लेकिन प्रदेश के लोग आज भी अपना हक पाने के लिए बेहाल हैं. सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद राजस्थान सरकार विस्थापितों को वहाँ नहरी ज़मीन नही दे रही है जिससे इन लोगों में रोष पनपता जा रहा है.

वहीं, मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर बीच सत्र से उठ कर प्रतिनिधि मंडल से मिलने आये. उन्होंने उनकी मांगों को सुना और आश्वासन दिया कि वह इस मसले को लेकर बीबीएमबी, वाइल्ड लाइफ विभाग और उच्च अधिकारियों से चर्चा करेंगे और कोशिश करेंगे कि बांध किनारे बिजाई करने की जो पुरानी परम्परा थी वो वैसी ही रहे.

इसके अतिरिक्त उन्होंने राजस्थान सरकार की और से आ रही पेचीदगियों का भी ज़िक्र किया और लोगों को आश्वासन दिया कि अगर राजस्थान सरकार इस मामले में कुछ नही करती है तो प्रदेश सरकार उचित कदम उठाएगी.

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