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श्रमिकों की मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ ने दिया धरना, मांगें पूरी न होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी - श्रमिकों की मांगों को लेकर धरना

धर्मशाला में भारतीय मजदूर संघ ने श्रमिकों की मांगों को लेकर धरना दिया. संघ के अध्यक्ष मदन राणा ने कहा कि देश में कार्यरत कर्मियों को पुरानी पेंशन बहाल की जाए.

Bharatiya Mazdoor Sangh protest
श्रमिकों की मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ ने दिया धरना

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Published : Jan 3, 2020, 3:08 PM IST

धर्मशाला: भारतीय मजदूर संघ ने चेतावनी दिवस मनाते हुए देशव्यापी आहवान पर धर्मशाला में श्रमिकों की मांगों को लेकर धरना दिया. संघ ने जिला प्रशासन के माध्यम से पीएम नरेंद्र मोदी को ज्ञापन भी भेजा.

भारतीय मजदूर संघ के जिलाध्यक्ष मदन राणा के नेतृत्व में श्रमिकों ने आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं, मिडडे मील, आशा वर्कर्स को सरकारी कर्मचारी घोषित करने, नई पेंशन स्कीम को बंद करके पुरानी पेंशन बहाल करने, आउटसोर्स कर्मियों को नियमित करने और ठेकेदार प्रथा को बंद करने की मांग उठाई.

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निर्माण क्षेत्र में कार्यरत मजदूरों की तरह अन्य संगठित क्षेत्र में कार्यरत मजदूरों के लिए कल्याण बोर्ड का गठन करने, महंगाई पर रोक लगाने, बेरोजगार से निपटने की मांग उठाई. महासंघ का कहना है कि केंद्र सरकार ने मांगों पर कार्रवाई न की तो संघ सड़कों पर उतरेगी.

श्रम नियमों की औद्योगिक क्षेत्रों में अनदेखी को दूर करने, कामगारों को भविष्य निधि योजना, राज्य कर्मचारी बीमा योजना लागू करने और महिला कामगारों को न्यूनतम वेतन देने, न्यूनतम पेंशन कम से कम 5000 रुपये करने, राज्य परिवहन निगम व बिजली बोर्ड के निजीकरण पर रोक लगाने, औद्योगिक संबंध संहिता बिल 2019 सभी संहिताओं से श्रमिक विरोधी प्रावधानों को हटाने की मांग उठाई है.

भारतीय मजदूर संघ के अध्यक्ष मदन राणा ने कहा कि देश में कार्यरत कर्मियों को पुरानी पेंशन बहाल की जाए. आशा और आंगनबाड़ी वर्कर्स को सरकारी कर्मचारी घोषित किया जाए, जब तक उन्हें सरकारी कर्मचारी घोषित नहीं किया जाता तब तक 18500 रुपये न्यूनतम वेतन दिया जाए. सरकार ने मांगें न मानी तो संघ सड़कों पर उतरने को मजबूर होगा.

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