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भोरंज के 3 भाइयों ने नौकरी छोड़ शुरु किया दुग्ध उत्पादन, अब कर रहे इतनी कमाई

मुड़खर पंचायत के मनोह पलासी गांव में तीन सगे भाइयों ने आत्मनिर्भर भारत की नजीर पेश की है. नामी कंपनियों में लाखों के पैकेज को छोड़कर इन तीन भाइयों ने दुग्ध उत्पादन के व्यवसाय को अपनाया है. अब इस कारोबार से अच्छी कमाई भी कर रहे हैं. साथ ही युवाओं को अपना काम शुरु करने के लिए युवाओं को प्रोत्साहित कर रहे हैं.

milk production business
दुग्ध उत्पादन का व्यवसाय

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Published : Aug 28, 2020, 6:01 PM IST

Updated : Sep 2, 2020, 11:43 AM IST

हमीरपुर: भोरंज विधानसभा क्षेत्र में मुड़खर पंचायत के मनोह पलासी गांव में तीन सगे भाइयों ने आत्मनिर्भर भारत की नजीर पेश की है. नामी कंपनियों में लाखों के पैकेज को छोड़कर इन तीन भाइयों ने दुग्ध उत्पादन के व्यवसाय को अपनाया है. अब इस कारोबार से अच्छी कमाई भी कर रहे हैं. साथ ही युवाओं को अपना काम शुरु करने के लिए युवाओं को प्रोत्साहित कर रहे हैं.

लॉकडाउन में जहां एक तरफ देश और प्रदेश में लाखों लोग बेरोजगार हुए हैं. वहीं, इन तीन सगे भाइयों के प्रयास से क्षेत्र के लोगों को रोजगार का अवसर दुग्ध उत्पादन में नजर आने लगा है. डेयरी फार्मिंग के इस व्यवसाय के तहत इन तीनों भाइयों ने गाय पालन, मुर्गी पालन और बकरी पालन को शुरू किया है. जिला प्रशासन भी इन सगे भाइयों के प्रयास को सराह रहा है.

गुलशन संधू ने दो गाय से दुग्ध उत्पादन के इस व्यवसाय को शुरू किया था. अब इनके पास 20 गाय हैं. साथ ही काम को विस्तार देते हुए अब बकरी और मुर्गी पालन भी शुरू कर दिया है. ये तीनों भाई गायों को चारा खिलाने के लिए स्थानीय लोगों से ही चारा खरीद रहे हैं. साथ ही उनको खाद बदले में दे रहे हैं.

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दरअसल तीनों भाइयों में सबसे बड़े भाई गुलशन संधू ने जर्मन बेस्ड कंपनी में कई साल नौकरी की. उनके भाइयों ने भी 4 से 5 साल तक का शहरों में कई कंपनियों में काम किया. उनका छोटा भाई अरमान वेरका कंपनी में काम करता था, जबकि सबसे छोटा भाई लुमिनस कंपनी में काम कर रहा था.

मैकेनिकल इंजीनियर अजय संधू ने नौकरी छोड़कर अपने भाई के मार्गदर्शन में इस काम को शुरू किया. वह गाय की देखभाल करते हैं, जबकि दूसरे भाई अरमान सप्लाई का काम करते हैं. वर्तमान समय में क्षेत्र के 10 किलोमीटर के एरिया में वह दूध की सप्लाई कर रहे हैं.

इससे पहले अरमान संधू पंजाब मिल्क फेडरेशन में काम करते थे. इस दौरान वह महीने में 30 हजार कमाते थे, लेकिन अब अपना दुग्ध उत्पादन के व्यवसाय को शुरु करने से महीने में करीब 40 हजार बचा लेते हैं. इसके अलावा कर्मचारियों का खर्च भी निकाल लेते हैं.

लॉकडाउन में बेरोजगार हुए युवाओं को भी स्वरोजगार अपनाने के लिए जागरूक किया जा रहा है. वहीं, डेयरी फार्मिंग के लिए प्रदेश सरकार ने सब्सिडी को लेकर नोटिफिकेशन जारी नहीं की है. इस वजह से डेयरी का काम शुरू करने में युवाओं को दिक्कत पेश आ रही है. सरकार की ओर से कोई सब्सिडी मिलने पर इन युवाओं को अपना काम शुरू करने में और भी मदद मिलेगी. गुलशन संधू ने सरकार से डेयरी फार्मिंग के लिए सब्सिडी देने की मांग की है.

बता दें कि जिला प्रशासन हमीरपुर भी इन तीन सगे भाइयों की मदद कर रहा है. डीसी हमीरपुर हरिकेश मीणा भी उनके डेयरी फॉर्म का विजिट कर चुके हैं. उन्होंने भी युवाओं के प्रयास को सराहा है. इसके अलावा स्थानीय विधायक कमलेश कुमारी हर मंच पर इन भाइयों को रोल मॉडल के रूप में पेश कर युवाओं से इस पेशे को अपनाने की अपील कर रही हैं.

गुलशन संधू डेयरी फार्मिंग और इस व्यवसाय से युवाओं को जोड़ने के लिए अब प्रयास कर रहे हैं. डेयरी फार्मिंग से आगे बढ़कर अब इन युवाओं की मिल्क प्रोसेसिंग प्लांट लगाने की योजना है, ताकि क्षेत्र के युवाओं को रोजगार मिल सके.

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Last Updated : Sep 2, 2020, 11:43 AM IST

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