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आंगनबाड़ी केंद्र में मनाया गया 'बेटी का जन्मदिन' कार्यक्रम, बदलने लगा लोगों का नजरिया

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Published : Nov 11, 2020, 8:46 PM IST

महिला एवं बाल विकास विभाग के सर्कल जाहू के आंगनबाड़ी केंद्र कांगुघटटी में बुधवार को बेटी जन्मदिन का आयोजन किया गया. महिला एवं बाल विकास विभाग के सर्कल भोरंज के तहत आने वाले आंगनबाड़ी केंद्र भ्याड़-1 में भी एक बेटी जमोत्सव कार्यक्रम आयोजित किया गया. आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने इस दौरान लोगों से सरकार की अलग-अलग योजनाओं के बारे में भी लोगों को जागरुक किया.

poshan abhiyan
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भोरंज/हमीरपुर: महिला एवं बाल विकास विभाग के सर्कल जाहू के आंगनबाड़ी केंद्र कांगुघटटी में बुधवार को बेटी जन्मदिन कार्यक्रम का आयोजन जाहू कलां महिला मंडल अध्यक्ष बिमला देवी की अध्यक्षता में किया गया. इस दौरान दो बेटियों रीधी शर्मा व आरती शर्मा का जन्मदिन मनाया गया. इस दौरान बेटियों को उपहार देकर सम्मानित किया गया और सांस्कृति कार्यक्रम भी प्रस्तुत किया गया.

इस अवसर पर जाहू कलां महिला मंडल अध्यक्ष बिमला देवी, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता जाहू कलां सावित्री रांगड़ा व कार्यकर्ता कांगुघटटी प्रोमिला देवी, ने महिलाओं को संबोधित करते हुए कहा कि भारत में बेटियों की स्थिति निम्न स्तर की है. क्योंकि आधुनिक व तकनीकी संसार में लोग बहुत चालाक हो गये हैं.

वह परिवार में किसी भी नए सदस्य को जन्म देने से पहले लिंग प्रषिक्षण के लिये जाते हैं और आम तौर पर लड़की होने की स्थिति में गर्भपात करवाने के विकल्प को चुनते हैं. इसी तरह बेटे होने की स्थिति में गर्भ को जारी रहने देते हैं.

इससे पहले रूढिवादी सोच के कारण बेटियों को जन्म के उपरांत मार देते थे. हालांकि आजकल लोग अल्ट्रासाउंड के द्वारा लिंग चयनात्मक परीक्षण करा कर बेटी के भ्रूण को मां के गर्भ में ही मार रहे हैं, जोकि एक सामाजिक बुराई है. उन्होंने कहा कि बेटियों के उत्थान के लिए सरकार ने बेटी है अनमोल योजना, बेटी बचाओं बेटी पढ़ाओं व अन्य योजनाओं को शुभारंभ किया है. इससे घटते लिंग अनुपात में सुधार होने लगा है. बेटी जन्मोत्सव कार्यक्रम का भी इसका एक हिस्सा है.

भ्याड़-1 आंगनबाडी केंद्र में मनाया बेटी जन्मदिन

बेटियां हमारे समाज की कर्णधार है. बेटियों के बिना हमारा सामाजिक परिवेश अधूरा है. ऐसे में बेटा-बेटी के अंतर का खत्म करके उनकों उच्च शिक्षा देनी चाहिए. यह बात महिला एवं बाल विकास विभाग के सर्कल भोरंज के तहत आने वाले आंगनबाड़ी केंद्र भ्याड़-1 में बेटी जमोत्सव कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए सुपरवाइजर कुंता राणा ने दी. उन्होंने कहा कि घटता लिंग अनुपात समाज के लिये नुकसानदायक है.

इस बुराई को खत्म करने के लिए विभाग ने बेटी बचाओं, बेटी पढ़ाओं अभियान शुरू किया है. इसके साकारात्मक परिणाम सामने आये हैं. उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने बेटी है. अनमोल योजना के तहत बीपीएल परिवारों में जन्म लेनी वाली बालिका को जन्म के पश्चात दी जाने वाली एक मुश्त सहायता राशि दस हजार से 12 हजार रुपए की है. इसी तरह तरह मदर टरेसा असहाय मातृ संबल योजना के तहत बच्चों के पालन-पोषण के लिए पांच हजार रुपए प्रति वर्ष प्रति बच्चा दिया जा रहा है.

इस दौरान मुख्यमंत्री कन्या दान योजना, माता संबरी महिला सशक्तिकरण योजना, मुख्यमंत्री बाल उदार योजना, विधवा पुर्नविवाह योजना के बारे में भी महिलाओं का जागरूक किया गया और सरकारी योजनाओं का लाभ लेने की अपील की. साथ ही नवजात बेटियों को उपहार देकर सम्मानित किया गया. इस मौके पर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, एएनएम पुष्पा देवी व गांव की महिलाएं उपस्थित हुई.

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