बिलासपुर:अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सदस्य, पूर्व मंत्री व विधायक श्री नयना देवी जी राम लाल ठाकुर ने विभिन्न मुद्दों पर प्रदेश सरकार को घेरा. राम लाल ठाकुर ने कहा कि बिलासपुर का मुख्य बस अड्डा जो कि बिलासपुर शहर न्यू बिलासपुर टाउनशिप के मध्य स्थित है और वह तब से है जब बिलासपुर जलमग्न होने के बाद नया बसाव हुआ था और तब केबल महज चार पांच बसों की आवाजाही होती थी.
राम लाल ठाकुर ने कहा पिछले 60 वर्षों में हालात बदल चुके हैं सैकड़ों बसें बिलासपुर डीपो की अपनी ही है उसके बावजूद यह बस अड्डा प्रदेश के एक मुख्य प्रवेश द्वार का भी रूप है तो उसको अब कहीं अन्य स्थान पर बदलना चाहिए ताकि बढ़ती बसों और सवारियों की सुविधाओं का ध्यान रखा जाए. उन्होंने कहा बिलासपुर के साथ लगते डियारा सेक्टर के लोगों को भी खुले में सांस व साउंड प्रदूषण से निजात मिले और बिलासपुर बस अड्डे से चल रहे रोजगार कमाने वालों को भी इसके आस पास स्थान दिया जा सके ताकि उनका व्यवसाय प्रभवित न हो सके.
इसके साथ ही राम लाल ठाकुर ने स्वारघाट में बन रहे इको टूरिस्ट सेंटर मामले पर प्रदेश सरकार की उदासीनता पर सवाल खड़े किए. राम लाल ठाकुर ने कहा कि इस इको टूरिस्ट सेंटर के लिए 50 लाख रुपये की राशि स्वीकृत थी जिसमें से 48,21,162 रुपये की राशि विभाग को हस्तांतरित कर दी गई है और अभी तक कुल राशि 23,37576 रुपये ही खर्च की गई है और काम पूरा नहीं हो पा रहा है. उन्होंने कहा कि क्यों प्रदेश सरकार इस ईको टूरिस्ट सेंटर व सूचना केंद्र को जल्दी से पूरा नहीं करवा पा रही है.
इसके अलावा राम लाल ठाकुर ने प्रदेश सरकार पर निजी क्षेत्र के कामगारों व कर्मचारियों की समय पर भविष्य निधि का पैसा नहीं मिल पाने पर गम्भीर प्रश्न खड़े किए. राम लाल ठाकुर ने कहा कि भविष्य निधि संगठन सीधे तौर पर केंद्र सरकार से जुड़ा होने के बावजूद भी जब निजी क्षेत्र के लोग अपने ईपीएफ को लेकर भविष्य निधि संगठन के कार्यलय में अपने ही पैसे के लिए गुहार लगाते हैं तो उन कामगारों को उनके ही अपने पैसों को लेकर की तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है.
राम लाल ठाकुर ने कहा कि प्रदेश में कुछ युवाओं की निजी क्षेत्र में जब नौकरी चली गई और उन्होंने अपने बचत किये हुए ईपीएफ के पैसे लेने के लिए गुहार लगाई तो वह उनको या तो पैसे मिले ही नहीं या फिर तब मिले जब उनको उन पैसों की आवश्यकता बहुत कम थी. उन्होंने भविष्य निधि संगठन की इस लेटलतीफी को सरकारी ढील या फिर इस कार्यलय में वर्कमैनशिप की कमी करार दिया. राम लाल ठाकुर ने कहा कि मैंने अभी तीन अलग-अलग विभागों के बारे में बात की लेकिन प्रदेश सरकार का रवैया हर विकास के कार्यों को लेकर उदासीन ही है.
ये भी पढ़ें:प्रदेश की सीमाओं को खोलने पर भड़की कांग्रेस, जल्दबाजी में लिया फैसला होगा प्रदेश के लिए घातक