शिमला: इटली के मशहूर शहर क्रेगनैनो की तर्ज पर शिमला में भी एक कस्बा है. शिमला के मशोबरा में क्रेगनैनो पार्क बनाया गया है. इस पार्क को कश्मीर में एशिया के सबसे बड़े ट्यूलिप गार्डन की तर्ज पर क्रेगनैनो गार्डन को भी विकसित किया जा रहा है. देश-विदेश के पर्यटकों को लुभाने के लिए हिल्स क्वीन शिमला में ट्यूलिप के फूल लगाए गए हैं. हर साल लाखों लोग और सैलानी इस पार्क को देखने के लिए पहुंच रहे हैं. यह देश का तीसरा ट्यूलिप गार्डन है.
पार्क में 50 रुपए का टिकट रखा गया है. रोजाना पांच सौ लोग यहां आते हैं और 2018 से अब तक वन विभाग इस पार्क से 60 लाख की कमाई कर चुका है. वन विभाग की ओर से तैयार नौ हेक्टेयर क्षेत्र में फैले क्रेगनैनो पार्क में रंग बिरंगे फूलों का दिलकश नजारा आकर्षण का केंद्र बन गया है. समुद्रतल से 7700 फीट की ऊंचाई पर तैयार किए गए ट्यूलिप गार्डन पर करोड़ों की लागत आई है. बान के पेड़ों से घिरे ट्यूलिप गार्डन को देखने जो भी पहुंच रहा है, फोटो खींचकर यादें संजो रहा है.
वन विभाग के इस प्रोजेक्ट की नींव पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने साल 2017 में रखी थी. पार्क का प्रोजेक्ट हालांकि काफी बड़ा है, जिसमें कई सुविधाएं दी जानी शेष हैं, लेकिन मुख्य आकर्षण ट्यूलिप के बल्ब हैं. शुरुआती तौर पर यहां 4 हजार ट्यूलिप बल्ब लगाए गए हैं. गार्डन पर पहले चरण में दो करोड़ खर्च होंगे, जिसमें से एक करोड़ 80 लाख रुपये खर्च हो चुके हैं.
दूसरे चरण में लेजर शो प्रोजेक्ट का क्रियान्वयन किया जाएगा, जिसकी अनुमानित लागत 2.90 करोड़ की होगी. ट्यूलिप गार्डन और लेजर शो देश भर के चुनिंदा प्रोजेक्टों में से एक है. करोड़ों की लागत से विकसित हो रहे इस पार्क में बान के पेड़ में बने ट्री हट्स पर्यटकों को अपनी ओर खींच रहें हैं. इसके अलावा जंगल में साइकिल ट्रेल, पैदल मार्ग, योगा पार्क, ट्री हट, वुडन हट, कैफेटेरिया, बच्चों के खेलने का पार्क, कार पार्किंग, साइकिल स्टैंड, ओक ट्रेल, रेन शेल्टर, बुक कैफे, एम्फी थियेटर विकसित किया जाएगा.