शिमला: हिमाचल और नेपाल के सदियों पुराने रिश्तों (Relationship between Himachal and Nepal) में देवभूमि की कंपनी नई रोशनी भर रही है. नेपाल में हिमाचल की ही तरह हाइड्रो पावर की अपार संभावनाएं हैं. उन्हीं संभावनाओं को हिमाचल में स्थापित देश की नवरत्न कंपनी सतलुज जलविद्युत निगम लिमिटेड साकार कर रही है. एसजेवीएनएल नेपाल में तीन परियोजनाओं पर काम कर रही है.
नेपाल में बिजली उत्पादन के लिए तीन परियोजनों पर काम कर रही एसजेवीएन कंपनी: बड़ी बात है कि वैश्विक कंपीटिशन में चीन को पछाड़कर एसजेवीएनएल ने नेपाल में हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट स्थापित करने को लेकर बीड की जंग जीती थी. इस समय एसजेवीएनएल नेपाल में 2059 मेगावाट की तीन परियोजनाओं पर तेज गति से काम कर रही है. इनमें 900 मेगावाट की अरुण-3, 669 मेगावाट की लोअर अरुण परियोजना व 490 मेगावाट की अरुण-4 परियोजना है. ये नेपाल की अरुण नदी बेसिन पर निर्मित हो रही हैं. एसजेवीएनएल नेपाल में 5000 मेगावाट के प्रोजेक्ट्स का लक्ष्य पूरा करने की दिशा में बढ़ रहा है. कंपनी ने ये टारगेट 2030 तक पूरा करना है.
चीन को पछाड़ कर नेपाल में हाइड्रोपावर सेक्टर का सिरमौर बनी SJVN: उल्लेखनीय है कि नेपाल में अरुण बेसिन पर निर्मित की जा रही 679 मेगावाट की लोअर अरुण परियोजना को हासिल करने के लिए चीन सहित कई अन्य देशों की कंपनियां कंपीटिशन में थीं, लेकिन एसजेवीएनएल ने सबको पछाड़ कर ये अहम प्रोजेक्ट (Hydropower Sector in Nepal) हासिल किया है. एसजेवीएनएल की हाइड्रो पावर सेक्टर में दक्षता के कारण ही उसे नेपाल, भूटान आदि में भी प्रोजेक्ट मिले हैं. हिमाचल सहित देश के अन्य राज्यों में भी एसजेवीएनएल की धाक है. इसे केंद्र सरकार की तरफ से मिनी नवरत्न कंपनी घोषित किया गया है.
नेपाल सरकार एसजेवीएनएल के सीएमडी नंदलाल शर्मा को कर चुकी है सम्मानित: नेपाल में एसजेवीएनएल जिस तरह से तय समय पर प्रोजेक्ट्स को पूरा करने की दिशा में बढ़ रहा है, उससे खुश होकर नेपाल सरकार ने कंपनी के सीएमडी नंदलाल शर्मा को कई बार सम्मानित भी किया है. इसी कड़ी में नेपाल के प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा (Nepal Prime Minister Sher Bahadur Deuba) ने हाल ही में सीएमडी नंदलाल शर्मा को टोकन ऑफ एप्रिसिएशन भी प्रदान किया है. इन्वेस्टमेंट बोर्ड ऑफ नेपाल की तरफ से आयोजित समारोह में ये सम्मान प्रदान किया गया. इससे पहले भी विभिन्न अवसरों पर नेपाल सरकार एसजेवीएनएल के सीएमडी नंदलाल शर्मा को सम्मानित कर चुकी है.
ऊर्जा उत्पादन के क्षेत्र में नेपाल को भारत की मदद: दरअसल, नेपाल सरकार अपने यहां ऊर्जा सेक्टर के विकास में भारत के सहयोग के प्रति नतमस्तक है. एसजेवीएनएल ने भी तीनों परियोजनाओं को समय से पहले पूरा करने का आश्वासन दिया है. वैसे भी समय पर प्रोजेक्ट्स पूरा करने में कंपनी की साख है. उल्लेखनीय है कि पिछले ही साल नेपाल सरकार व एसजेवीएनएल में 679 मेगावाट की लोअर अरुण जल विद्युत परियोजना को लेकर सहमति हुई थी. नेपाल के निवेश बोर्ड की बैठक (Nepal Investment Board meeting) में इस परियोजना को एसजेवीएनएल को अवॉर्ड किया गया था. उस समय बैठक की अध्यक्षता नेपाल के तत्कालीन प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने की थी.