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हिमाचल के इस शिक्षक ने 90 हजार विद्यार्थियों की सुधारी लिखावट, National Teacher Award से होंगे सम्मानित - himachal pradesh news

Teachers Day 2022: जिला शिमला के राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला धरोगड़ा में टीजीटी के पद पर कार्यरत वीरेंद्र कुमार को राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार (National Teacher Award) के लिए चुना गया है. वीरेंद्र पढ़ाने के साथ विद्यार्थियों की लिखावट सुधारने का काम भी कर रहे हैं. चार वर्ष में 90 हजार विद्यार्थियों की लिखावट सुधार चुके हैं.

National Teacher Award for Virender Kumar
वीरेंद्र कुमार को राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार

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Published : Sep 4, 2022, 2:08 PM IST

मंडी:देश व विदेशों में लिखावट सुधार कर छात्रों के भविष्य को निखारने वाले शिक्षक वीरेंद्र कुमार को राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार से नवाजा जाएगा. हिमाचल के जिला शिमला के राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला धरोगड़ा में टीजीटी के पद पर सेवाएं दे रहे वीरेंद्र कुमार 5 सितंबर को विज्ञान भवन में राष्ट्रपति के हाथों से सम्मानित होंगे. धरोगड़ा स्कूल में अंग्रेजी और सामाजिक अध्ययन विषय पढ़ा रहे शिक्षक चार सालों से छात्रों की लिखावट को सुधारने का पुनीत कार्य कर रहे हैं.

अब तक वे हिमाचल प्रदेश सहित देश के कई अन्य राज्यों सहित चार देशों में 90 हजार से अधिक छात्रों की लिखावट सुधार चुके हैं. जिससे छात्रों के परीक्षा में आने वाले अंकों में सुधार हुआ है. चार साल पहले राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला धरोगड़ा में कार्यभार संभालने के साथ ही छात्रों की लिखावट को सुधारने का (Virender Kumar is improving the handwriting of children) निर्णय लिया. जिसके बाद धीरे-धीरे उन्होंने आसपास के स्कूलों में विजिट कर छात्रों की लिखावट को सुधारने कार्य शुरू किया. इस दौरान उन्होंने अब तक प्रदेशभर में करीब 250 मास्टर ट्रेनर भी तैयार किए हैं. जो बच्चों की लिखावट में सुधार पर काम कर रहे हैं.

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लिखावट सुधार में क्रांतिकारी परिवर्तन कोविड काल में हुआ. छुट्टियां होने की वजह से स्कूल बंद थे, लेकिन इस दौरान वीरेंद्र कुमार ने लिखावट सुधारने के कार्य में और जोर पकड़ा और इसमें साथ दिया प्रदेशभर में तैयार किए गए 250 मास्टर ट्रेनरों ने. जिन सभी के प्रयासों से लिखावट सुधारने का कार्य (Virender Kumar honored with National Teacher Award) आगे बढ़ा और राजधानी शिमला के गेयटी थियेटर में लिखावट सुधारने के लिए कक्षाएं लगानी शुरू हुईं. उन्होंने ऑनलाइन भी छात्रों का मार्गदर्शन किया गया. इसके अतिरिक्त वीरेंद्र कुमार ने अध्यापन से समय निकालकर चार किताबें भी लिखी हैं. जिसमें शिक्षण शास्त्र पर एक किताब लिखी गई है. इसमें पढ़ाई को कैसे रोचक बनाया जा सकता है के बारे में बताया गया है.

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वीरेंद्र कुमार का कहना है कि धरोगड़ा स्कूल में कार्यभार संभालने के बाद 2018 में लिखावट सुधारने का काम शुरू किया. इस तरह वह अब तक करीब 90 हजार विद्यार्थियों की लिखावट सुधार चुके हैं. इनमें विदेश से भी विद्यार्थी शामिल हैं. उन्होंने बताया कि दुबई से भी एक महिला का फोन आया था, जिसके बेटे ईशान इब्राहिम को लिखावट खराब होने की वजह से स्कूल से निकाल दिया. ऐसे में केवल 12 दिन ऑनलाइन कक्षा लगाकर ईशान इब्राहिम की लिखावट को सुधारा गया. उन्होंने कहा कि अब यही छात्र उसी स्कूल में फिर से शिक्षा ग्रहण कर रहा है. वीरेंद्र कुमार ने बताया कि 17 वर्ष तक जेबीटी पद पर कार्य करने के बाद अब पांच साल से टीजीटी पद पर सेवाएं दे रहे हैं.

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