चंबाः 'कौन कहता है कि आसमां में सुराख हो नहीं सकता, एक पत्थर तो तबीयत से उछालो यारों...' इस कहावत को सच कर दिखाया है सलूणी की एसडीएम किरण भड़ाना ने जो कि युवा आईएएस अधिकारी हैं. किरण भड़ाना ने कोरोना संकट में विद्यार्थियों और अभ्यर्थियों की परेशानियों को समझते हुए एक पब्लिक लाइब्रेरी शुरू कर दी है.
खास बात ये है कि लाइब्रेरी को युवाओं और आमजन के सहयोग से शुरू किया गया है और आमजन द्वारा ही लाइब्रेरी चलाई जा रही है. पब्लिक लाइब्रेरी खोलने के लिए क्राउडफंडिंग के माध्यम से पैसे इकट्ठे किए गए.
अब पब्लिक लाइब्रेरी खुलने के बाद दूरदराज इलाकों के युवा अभ्यर्थी परीक्षाओं की तैयारी करने के लिए इस लाइब्रेरी का रुख करने लगे हैं. बता दें कि पहले सलूणी में लाइब्रेरी नहीं होने के चलते स्थानीय युवाओं को सिविल सर्विसेज सहित अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए धर्मशाला और शिमला का रुख करना पड़ता था जिसमें आर्थिकी और समय दोनों अधिक व्यय करना पड़ता था.
साथ ही कई युवा अभ्यर्थी आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं होने के चलते शिमला और धर्मशाला नहीं जा पाते थे. इसी को देखते हुए एसडीएम सलूणी ने ये पहल की और आमजन के सहयोग से लाइब्रेरी शुरू की. सलूनी प्रशासन की यह पहल रंग लाई है और स्थानीय युवाओं को लाइब्रेरी का भूरपूर लाभ मिल रहा है.
प्रतियोगी परीक्षाओं सहित अन्य पुस्तकें भी उपलब्ध
लाइब्रेरी में प्रतियोगी परीक्षाओं सहित अन्य पुस्तकें भी रखी गईं हैं. इससे ग्रामीण इलाकों के युवाओं को अपनी प्रतिभा को तराशने का मौका मिल रहा है. लाइब्रेरी में पढ़ने के लिए आई अभ्यर्थी शेल्जा ने बताया कि वे रेगुलर इस यहां पढ़ने के लिए आती हैं और इससे उन्हें काफी मदद मिल रही है. युवाओं के लिए खासकर स्थानीय युवतियों को अपनी शिक्षा और करियर को दिशा देने में लाइब्रेरी से लाभ मिल रहा है.