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आखिर टूटी परिजनों की उम्मीद, 3 दिन बाद गोबिंद सागर झील में मिले सीर खड्ड में डूबे युवकों के शव - bilaspur news hindi

हिमाचल प्रदेश के जिला बिलासपुर के तुंगड़ी गांव में मंगलवार को दो युवकों के सीर खड्ड में डूबने की जो आशंका जताई जा रही थी और युवकों का रेस्क्यू ऑपरेशन जारी था, वह अब पूरा हो गया है. दरअसल दोनों युवकों के शव बरामद कर लिए गए हैं. सीर खड्ड से करीब 15 किलोमीटर दूर गोबिंद सागर झील में ये शव बरामद किए गए हैं.

dead bodies found in Gobind Sagar lake
गोबिंद सागर झील में मिले शव

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Published : Aug 18, 2022, 4:18 PM IST

बिलासपुर:झंडूता उपमंडल के तहत आने वाले तुंगड़ी गांव में सीर खड्ड में लापता हुए दोनों युवकों के शव (Two boys drowned in Seer Khad) आखिर तीसरे दिन घटना स्थल से करीब 15 किलोमीटर दूर बलघाड़ में गोबिंद सागर झील में (dead bodies found in Gobind Sagar lake) बरामद हुए हैं. ऐसे में तीन दिनों से अपने बच्चों के सकुशल होने की आस लगाए परिजनों की उम्मीद टूट गई है.

तीन दिनों से लापता थे दोनों युवक:गौरतलब है कि तुंगड़ी गांव में बीते 16 अगस्त से दो युवक लापता थे. दोनों युवकों के कपड़े सीर खड्ड किनारे मिले थे. खड्ड किनारे कपड़े मिलने से आशंका जताई गई थी कि युवक नहाने के लिए सीर खड्ड में उतरे हों और उनके साथ कोई हादसा हुआ हो. इसके बाद पुलिस व प्रशासन द्वारा लगातार युवकों को ढूंढने के लिए कार्य किया जा रहा था. युवकों को पानी में खोजने के लिए बुधवार को गोताखोर भी बुलाए गए थे. लेकिन मौके पर कोई सफलता नहीं मिली.

गोबिंद सागर झील में मिले शव:जिसके बाद वीरवार को दोनों युवकों के शव मौके से करीब 15 किलोमीटर दूर गोबिंद सागर झील में बरामद हुए हैं. स्थानीय लोगों ने युवकों के शव झील में (dead bodies found in Gobind Sagar lake) तैरते हुए देखे, जिसकी सूचना पुलिस को दी गई. बताया जा रहा है कि सीर खड्ड में पानी का बहाव तेज होने के चलते दोनों युवक पानी के साथ करीब 15 किलोमीटर तक दूर चले गए थे. पुलिस ने दोनों शवों को कब्जे में लेकर आगामी जांच शुरू कर दी है. दोनों शवों का पोस्टमार्टम करवाया जा रहा है.

दोनों परिवारों पर टूटा दुखों का पहाड़:बता दें कि जोलप्लाखी गांव का 16 वर्षीय अमन तुंगड़ी गांव में अपने ननिहाल में रहता था. उसके पिता कश्मीर सिंह का देहांत हो चुका है. वह सुनहानी स्कूल में 12वीं कक्षा में पढ़ता था. जबकि 18 वर्षीय निशांत, पुत्र प्यारे लाल, तुंगड़ी गांव का ही रहने वाला था और बरठीं में आईटीआई कर रहा था. निशांत गरीब परिवार से संबंध रखता है और उसके पिता मिस्त्री का काम करते हैं, जबकि माता गृहिणी है. निशांत 3 बहनों का इकलौता भाई था.

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