बिलासपुरः जिला बिलासपुर के कंदरौर में टैक्सी चालक की हत्या मामले में पुलिस की जांच में नया खुलासा सामने आया है. पुलिस की जांच में पता लगा है कि दिल्ली के रहने वाले हत्यारोपी ललित को उसके परिवार ने एक साल पहले ही घर से बेदखल कर दिया था. दिल्ली निवासी ललित को उसकी हरकतों की वजह से परिजनों ने घर से बाहर निकाल दिया था.
बताया जा रहा है कि इससे पहले भी वह चोरी और डकैती की वारदातें कर चुका है. आरोपी ललित अपने अलग-अलग दोस्तों के पास रहता था. पुलिस सूत्रों के हवाले से पता चला है कि ललित और दस महीने तक रेप केस में सजा काट चुके हरियाणा के साहिल की दोस्ती राजस्थान के अमरपुरा में हुई थी.
वापस दिल्ली आने पर दोनों कुरियर कंपनी से जुड़े और इसी बीच कुरियर कंपनी में काम करने वाले तीसरे आरोपी जम्मू निवासी रोहित के साथ दोस्ती हुई. रोहित व युवराज आपस में रिश्तेदार हैं. युवराज के पिता जम्मू के एक बैंक में केशियर पद पर कार्यरत हैं. इसके बाद इनकी मुलाकात ललित से हुई और ये तीनों 4 व 5 सितंबर को शिमला आ गए थे. शिमला में आरोपी लोअर कैथू में एक किराए के मकान में रहते थे.
सूत्र बताते हैं कि चौथा आरोपी साहिल शिमला के मतियाना में अपने पिता के साथ रहता था. साहिल के पिता मतियाना में एक परिवार के पास ट्रक ड्राइवर थे और इस परिवार की महिला के चिंतपूर्णी में रिश्तेदार हैं, जिनके घर श्राद के दौरान धार्मिक कार्यक्रम था, जिसमें भाग लेने के लिए चारों आरोपी शिमला से टैक्सी बुक करके निकले थे. साहिल की ललित से जान पहचान थी.
सूत्रों से पता चला है कि साहिल से मिलने के बाद चारों ने शिमला में चिंतपूर्णी जाने का निर्णय लिया. जहां वह रैकी व चोरी के इरादे से जा रहे थे, लेकिन शिमला से बुक की टैक्सी की लूटपाट करने की योजना भी इन्होंने शिमला में बना ली थी. पुलिस जांच के दौरान यह भी बात पता चली है कि शिमला के टुटू में किराए के मकान में रहने वाले कंडाघाट निवासी टैक्सी चालक के पास दो मोबाइल थे जिनमें से एक मोबाइल को पुलिस ने टुटू के पास ही एक सुनसान जगह पर बरामद किया है.
पुलिस सूत्रों के हवाले से ज्ञात हुआ है कि जांच के दौरान पुलिस ने हर पहलु की बारीकी से जांच की जा रही है. दो बार रिमांड के दौरान पुलिस ने अपनी जांच प्रक्रिया को आगे बढ़ाया. अदालत ने चारों आरोपियों को तीन अक्तूबर तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया है.