बिलासपुर:आज शारदीय नवरात्र का सातवां दिन है. नवरात्र (Navratri) के सप्तमी (Saptmi) के दिन मां कालरात्रि (Maa kalratri) की विशेष पूजा की जाती है. इस दिन मां कालरात्रि (Maa kalratri) के साथ शिव (Shiva)और ब्रह्मा (Brahma) की भी उपासना की जाती है.
शारदीय नवरात्रों के चलते मां नैना देवी के दर पर हर रोज सैकड़ों श्रद्वालु पहुंच रहे हैं. यहां नवरात्रि के दौरान अब तक हजारों लोगों ने माता के दर्शन किए. कोविड-19 की गाइडलाइन को पूरा करते हुए श्रद्वालुओं को माता के दर्शन करवाए जा रहे हैं.
विश्व विख्यात शक्तिपीठ श्री नैना देवी में अब तक शारदीय नवरात्रि में लगभग 1 लाख के करीब श्रद्धालु माता जी के दर्शन कर चुके हैं. जबकि नवरात्र के उपलक्ष्य पर मंदिर न्यास को चढ़ावे के रूप में 47 लाख 22 हजार 652 रुपये नकद, सोना 85 ग्राम 100 मिली ग्राम, चांदी 8 किलो 400 ग्राम प्राप्त हुआ.
वहीं, आज भी नैना देवी मंदिर में एक ऐसा हवन कुंड है जिससे हवन एवं यज्ञ से उत्पन्न होने वाली विभूति को बाहर नहीं निकाला जाता. हवन इसी कुंड में समाहित हो जाता है और अपने आप ही साफ हो जाता है. कहा जाता है कि किसी भी श्रद्वालु के इस हवन कुंड में माथा न टेकने पर उसकी यात्रा सफल नहीं मानी जाती है.
नैना देवी मंदिर में हवन कुंड और पवित्र ज्योतियां यहां की खासियत मानी जाती है. आंधी, तूफान, बारिश के दौरान अकसर मंदिर में दिव्य ज्योतियां प्रज्ज्वलित होती हैं. यह ज्योतियां पीपल के पत्तों, झंडों यहां तक की भक्तों की हथेलियों तक आ जाती हैं.