यमुनानगर: सरकार हर साल बजट में स्वास्थ्य के लिए भारी राशि आवंटन (Health budget haryana) की घाोषणा करती है लेकिन ये घोषणा मात्र घोषणा ही रहती है. धरातल पर लोगों को इसका कोई लाभ नहीं मिल पाता है. ये खुलासा आरटीआई की रिपोर्ट में हुआ है. आरटीआई के जरिए खुलासा हुआ है कि यमुनानगर के सभी अस्पतालों, सीएचसी, पीएचसी में डाॅक्टरों और पैरामेडिकल स्टाफ की भारी कमी (Doctor shortage in yamunanagar) है. जिसके चलते मरीजों को समय पर इलाज नहीं मिल रहा है. कई घंटो तक मरीज लाइनों में लगे रहते हैं और अपनी बारी की प्रतीक्षा करते रहते हैं.
आरटीआई में हुआ खुलासा, डॉक्टर और स्टाफ की किल्लत झेल रहे यमुनानगर के अस्पताल
हरियाणा सरकार बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं (Haryana health services) नागरिकों को देने का दावा करती है लेकिन इन दावों का दम एक आरटीआई रिपोर्ट ने निकाल दिया है. आरटीआई के जरिए पता चला है कि यमुनानगर के सरकारी अस्पतालों में डाॅक्टर और पैरामेडिकल कर्मचारियों (Doctor shortage in yamunanagar) की भारी कमी है.
आरटीआई कार्यकर्ता राहुल भान ने बताया की जिले में फार्मासिस्ट के 53 पद हैं. इनमें से 19 पद भरे हुए हैं और 34 पद खाली पड़े हैं. ओपथालिमक असिस्टेंट के 12 पदों में से सभी खाली हैं. सीनियर मेडिकल ऑफिसर के 16 पदों में से 15 पद भरे हैं जबकि 1 पद खाली है. वहीं मेडिकल ऑफिसर (Medical officer in haryana) के 186 पदों में से 76 पदों पर डाॅक्टर (Doctor shortage in Haryana) हैं जबकि 112 पद खाली पड़े हैं.
उधर डेंटल सर्जन के 28 पदों में से 20 पदों पर डाॅक्टर हैं और 8 खाली हैं. स्टाफ नर्स के 222 पदों में से 72 पद भरे हैं और 150 पद खाली हैं. पैरामेडिकल स्टाफ के 146 पोस्ट में से 42 पदों पर कर्मचारी हैं और बाकी 104 पद रिक्त हैं. सिविल सर्जन मनजीत सिंह ने भी माना है कि डाॅक्टरों और पैरामेडिकल स्टाफ की कमी है. वो जैसे तैसे काम चला रहे हैं. उन्होंने बताया कि 1600 डाॅक्टरों और एएनएम की भर्ती प्रक्रिया जारी है जिसके बाद काफी हद तक डाॅक्टरों और पैरा मेडिकल स्टाफ की कमी पूरी हो जाएगी. जिले की कुल आबादी लभगग 13 लाख से अधिक है. इस आबादी के अनुसार डॉक्टरों की बेहद कमी है.