सिरसा:कृषि कानूनों को लेकर किसान संगठनों के प्रदर्शन के बीच बरोदा उपचुनाव बीजेपी-जेजेपी गठबंधन सरकार के लिए जीतना आसान नहीं है. लगातार किसान संगठन और विपक्षी दल उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला से इस्तीफे की मांग कर रहे हैं.
इन दलों का कहना है कि दुष्यंत चौटाला को किसानों के मुद्दे पर वोट मिले, लेकिन अब वो कृषि कानूनों पर किसानों का साथ नहीं दे रहे हैं. इस पर उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला की ओर से प्रतिक्रिया आई है.
इस्तीफा मांगने वाले किसानों को ढाल बनाकर खुद सत्ता में आना चाहते-दुष्यंत चौटाला दुष्यंत चौटाला ने कहा कि चौधरी देवीलाल कहते थे कि अगर सरकार में किसान है, तभी किसान का भला हो सकता है. इस्तीफा देने से किसान का भला तो नहीं सकता. इस्तीफा देना कोई हल नहीं है. उन्होंने कहा कि जो लोग इस्तीफे की बात करते हैं. वो खुद किसानों को ढाल बनाकर सत्ता में आना चाहते हैं. उन्होंने पंजाब सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि कांग्रेस की सरकार पंजाब में है.
वहां पर भी किसान धरने पर हैं. क्योंकि कांग्रेस की ओर से विधानसभा में जो कानून लाए गए हैं वो किसानों को धोखा देने के लिए हैं. उन्होंने कहा कि पंजाब और राजस्थान में अगर सरकार किसान हितैषी है तो वहां के किसान कॉटन और बाजरा हरियाणा में आकर क्यों बेच रहे हैं? दुष्यंत चौटाला ने कहा कि सिर्फ हरियाणा ऐसा प्रदेश है जहां किसानों के फल और सब्जी को भी भावांतर भरपाई योजना के तहत खरीदा जाता है. ताकि किसानों को नुकसान से बचाया जा सके.
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वहीं बरोदा उपचुनाव में प्रचार कार्यक्रम को लेकर दुष्यंत चौटाला ने कहा कि बरोदा विधानसभा क्षेत्र में दो दिन मुख्यमंत्री के कार्यक्रम किए जाएंगे, दो दिन मेरे कार्यक्रम और डॉक्टर अजय चौटाला के कार्यक्रम भी रहेंगे.