हरियाणा

haryana

ETV Bharat / state

रोहतक: जाट आरक्षण आंदोलन का चेहरा रहे राहुल दादू के भाई जयदेव 450 वोटों से जीते

रोहतक में जिला परिषद चुनाव (Zilla Parishad elections in Rohtak) में जयदेव ने 450 वोटों से जीत दर्ज की है.दरअसल साल 2016 में हुए जाट आरक्षण आंदोलन का मुख्य चेहरा रहे राहुल दादू का नामांकन पत्र रद्द हो गया था. जिसके चलते उसके भाई जयदेव ने कवरिंग उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ा और जीत भी हासिल की.

haryana panchayat elections 2022
रोहतक में जिला परिषद चुनाव में राहुल दादू के भाई जयदेव की जीत

By

Published : Nov 27, 2022, 4:16 PM IST

रोहतक: हरियाणा के रोहतक में जिला परिषद चुनाव (Zilla Parishad elections in Rohtak) में वार्ड नंबर 10 से जाट आरक्षण आंदोलन का चेहरा रहे राहुल दादू के भाई जयदेव ने जीत हासिल की है. दरअसल जाट आरक्षण आंदोलन से जुड़े केस दर्ज होने की वजह से निर्वाचन अधिकारी ने दादू का नामांकन पत्र रद्द कर दिया था. (haryana panchayat elections 2022)

नामांकन रद्द होने के कारण कवरिंग प्रत्याशी के तौर पर भाई जयदेव दादू ने चुनाव लड़ा और 450 वोटों से जीत हासिल की. इस चुनाव की खास बात यह रही कि नामांकन पत्र रद्द होने से पहले रिटौली के ग्रामीणों ने राहुल दादू को पहले पंचायती झोटा और फिर राजस्थान नस्ल का घोड़ा भेंट दिया था. गौरतलब है कि वर्ष 2016 में हुए जाट आरक्षण आंदोलन के दौरान राहुल दादू पर विभिन्न आपराधिक धाराओं के तहत 8 केस दर्ज हुए थे.

दादू ने हरियाणा पंचायत चुनाव (haryana panchayat elections 2022) के लिए नामांकन पत्र दाखिल करते समय सभी दर्ज केस का ब्यौरा दिया था. हालांकि 4 केस में वो बरी हो चुका है. राहुल दादू पर 2 केस फिलहाल सीबीआई की कोर्ट में चल रहे हैं. जिसमें एक केस हरियाणा के तत्कालीन वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु की कोठी जलाने का भी है. नामांकन की जांच के दौरान चुनाव अधिकारियों ने बताया कि केस में आईपीसी की धारा 395 भी लगी है.

इसमें अगर आरोपी को दोषी करार दिया जाता है तो उसे 10 साल से ज्यादा या उम्रकैद तक की सजा हो सकती है. राहुल दादू के वकील ने तर्क दिया था कि उक्त धारा में यह प्रावधान नहीं है कि कोर्ट को 10 साल से ज्यादा या उम्रकैद की ही सजा देनी होगी. जज 10 साल से कम की सजा भी सुना सकता है.

ये भी पढ़ें- अभय चौटाला के बेटे कर्ण चौटाला जीते, कैबिनेट मंत्री रणजीत चौटाला के नजदीकी को 625 वोटों से हराया

ऐसे में नामांकन रद्द नहीं किया जाना चाहिए था. लेकिन यह तर्क नहीं माना गया और राहुल दादू का नामांकन पत्र रद्द कर दिया गया. आखिरकार राहुल की जगह उनके भाई जयदेव ने चुनाव लड़ा था. कवरिंग उम्मीदवार के तौर पर जयदेव ने चुनाव लड़ा और (Jaidev wins Zilla Parishad elections) जीत दर्ज की है.

ABOUT THE AUTHOR

...view details