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Handloom Market In Panipat: मंद चल रही कंबल और हैंडलूम मार्केट को निरंकारी संत समागम से मिली संजीवनी, कारोबार में उछाल

By ETV Bharat Haryana Team

Published : Oct 31, 2023, 1:00 PM IST

Updated : Nov 1, 2023, 2:29 PM IST

Handloom Market In Panipat हरियाणा के पानीपत के समालखा में आयोजित तीन दिवसीय निरंकारी संत समागम का समापन हो गया है. इस समागम के चलते पानीपत के कंबल मार्केट और हैंडलूम मार्केट में काफी उछाल आया है. (Panipat blanket market 76th annual samagam panipat samalkha Nirankari Sant Samagam 2023 )

Handloom Market In Panipat blanket market In Panipat
निरंकारी संत समागम से कंबल और हैंडलूम मार्केट में उछाल

निरंकारी संत समागम से कंबल और हैंडलूम मार्केट में उछाल

पानीपत: हरियाणा के पानीपत में तीन दिवसीय संत निरंकारी समागम में लाखों लोगों की संख्या में भीड़ पहुंची. समागम के समापन के दिन यानी सोमवार, 30 अक्टूबर को हरियाणा के राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय निरंकारी संत समागम में पहुंचे. राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय निरंकारी संत समागम में निरंकारी सतगुरु माता सुदीक्षा महाराज निरंकारी राजपिता से आशीर्वाद लेने पहुंचे. निरंकारी संत समागम ने पानीपत हैंडलूम की डोमेस्टिक मार्केट में जान फूंकने का काम किया है.

निरंकारी संत समागम के अंतिम दिन पहुंचे राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय.

हैंडलूम मार्केट में समागम में आए 90 फीसदी ग्राहक: निरंकारी संत समागम में आए आनुयायी हैंडलूम मार्केट में सिर्फ समागम में आये अनुयायी ही दिखाई दे रहे है. इन दोनों मार्केट में 90% ग्राहक सिर्फ निरंकारी समागम में आए हुए दूसरे राज्यों के लोग हैं. पानीपत के कंबल मार्केट की दुकानदार इस बार डबल दिवाली मनाने की तैयारी कर रहे हैं दुकानों पर इन दोनों स्टॉक की भरमार लग चुकी है.

निरंकारी संत समागम से मंदी चल रही कंबल और हैंडलूम मार्केट में उछाल.

अच्छा और सस्ता होता है पानीपत का कंबल: निरंकारी समागम में आए लोगों का कहना है कि उनके मन में हर वर्ष निरंकारी समागम को लेकर एक उत्सुकता रहती है और दूसरी उत्सुकता उनके मन में यह रहती है कि वह पानीपत की मशहूर हैंडलूम मार्केट में खरीदारी करने की. समागम के आखिरी दिन यहां आए निरंकारी अनुयाई पानीपत की डोमेस्टिक बाजार से जमकर खरीदारी करते हैं इन लोगों का कहना है कि उनके राज्यों से डेढ़ गुना सस्ता यहां कंबल मिल जाता है और क्वालिटी भी बहुत अच्छी होती है.

समागम में आए श्रद्धालु बाजार में खरीदारी करते हुए.

निरंकारी संत समागम में कई राज्यों से आए श्रद्धालु: समागम में झारखंड के रांची से आए श्रद्धालु का कहना है 'पानीपत का कंबल काफी मशहूर है. हमलोग यहां तीसरी बार आए हैं. समागम में जब भी आते हैं तो यहां से कंबर खरीदकर जरूर ले जाते हैं.'

इसके अलावा रांची से आई सपना कुमारी कहती हैं 'यहां काफी अच्छे रेट में कंबल बहुत बढ़िया मिल जाता है. यही वजह है कि यहां कंबल खरीदना नहीं भूलते. जब भी निरंकारी समागम में पानीपत आते हैं तो कंबल जरूर खरीदते हैं.'

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वहीं, ओडिशा से निरंकारी संत समागम में आए संतोष कहते हैं 'समालखा समागम में आए थे. सुना था कि पानीपत का कंबल सस्ता और अच्छा मिलता है. इसलिए समागम में आने पर समय मिलने पर पानीपत बाजार आ गया. वाकई यहां का कंबल सस्ता और बहुत ही अच्छा है. यहां ओडिशा से डेढ़ गुना कम रेट है और क्वालिटी भी बढ़िया है.'

इसके साथ ही ओडिशा के भुवनेश्वर से निरंकारी संत समागम में पहुंची श्रद्धालु शुब्रापाल कहती हैं ' हम कई लोग ग्रुप में समालखा में समागम में आए हैं. यहां पानीपत के लोकल मार्केट में कम रेट में बहुत ही बढ़िया सर्दी के कपड़े मिल रहे हैं. बाजार से ब्लैंकेट भी लिया. यहां के बाजार में रिजनेबल रेट में बहुत सारी चीजें हैं. यहां शॉपिंग करके बहुत ही अच्छा लगा.'

हैंडलूम और कंबल मार्केट में उछाल.

निरंकारी समागम से मिल रहे 90% ग्राहक:वहीं, दुकानदार दर्शन लाल नागपाल, राजन का भी मानना है कि इन दिनों उनकी मार्केट में ग्राहक सिर्फ 10% ही होते हैं और जैसे ही समागम शुरू होता है तो ग्राहकों की भीड़ सुबह होते ही जुड़ना शुरू हो जाती है. निरंकारी समागम कंबल उत्पाद के घरेलू बाजार में संजीवनी का कार्य करता है.

गुरुद्वारा रोड, चौड़ा बाजार प्रधान सुरेश बवेजा कहते हैं, 'निरंकारी संत समागम से पहले मार्केट बहुत ही मंदी चल रही थी. इस समागम से दुकानदारों को एक संजीवनी मिल गई है. समागम में आए श्रद्धालु भारी संख्या में बाजारी में खरीदारी कर रहे हैं. निरंकारी समागम के पिछले वर्ष में पानीपत की घरेलू बाजार में 105 करोड़ रुपए का व्यपार किया था. इस बार ये आंकड़ा पार होने की उम्मीद है.'

पांच दिवसीय था पिछला समागम: पिछला समागम पांच दिवसीय था और इस साल समागम तीन दिवसीय है. दुकानदारों सहित सिटी ट्रांसपोर्ट की भी इन दोनों दोगुनी कमाई हो रही है. समागम स्थल से मार्केट तक जाने के लिए पब्लिक ट्रांसपोर्ट का ही इस्तेमाल किया जा रहा हैं. वहीं, समागम स्थल पर बनी अस्थाई दुकानों का भी हजारों रूपों का किराया लिया गया है. भोडवाल माजरी रेलवे स्टेशन भी अस्थाई बाजार के रूप में इन दिनों बदला हुआ है.

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Last Updated : Nov 1, 2023, 2:29 PM IST

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