पानीपत: कृषि बिल को राज्यसभा से हरी झंडी मिलते ही अब किसानों ने अपने आंदोलन को तेज कर दिया है. पानीपत में किसानों के इस आंदोलन को कांग्रेस ने समर्थन दिया है. हरियाणा कांग्रेस के द्वारा पानीपत में कृषि बिल के विरोध में प्रदर्शन किया गया और जिला उपायुक्त के माध्यम से राष्ट्रपति को ज्ञापन सौंपा गया.
कांग्रेस ने इस कृषि बिल को तुगलकी फरमान बताया और सरकार को फेल बताते हुए कहा कि सरकार को संवाद और बड़ी-बड़ी बातें करना ही आती हैं. कांग्रेस प्रभारी विवेक बंसल ने कहा कि इस सरकार की असफलताओं के बारे में वो पूरी दिल्ली से सुनते थे, लेकिन आज यहां आकर अपने कार्यकर्ताओं से बात की तो पता चला कि इस सरकार की नाकामी इससे भी ऊपर है.
उन्होंने कहा कि यहां की जनता कहीं ना कहीं अपने आप को ठगा सा महसूस कर रही है. क्योंकि उनको लुभावने आश्वासन और भावनाओं के सहारे इस सरकार द्वारा ठगा जा रहा है. उन्होंने कहा कि हम यहां किसानों की आवाज को बुलंद करने और उन्हें मजबूत करने आए हैं. प्रधानमंत्री पर निशाना साधते हुए बंसल ने कहा कि तुगलकी फरमान देते हुए इतने पारंगत हो गए हैं कि वो रात को सपना देखते हैं और सुबह उसका किर्यावन्त कर देते हैं.
कृषि बिल को लेकर कांग्रेसी नेताओं ने राष्ट्रपति के नाम सौंपा ज्ञापन, देखें वीडियो ये भी पढ़ें- फतेहाबाद: कृषि अध्यादेशों के खिलाफ कांग्रेसी नेताओं ने राष्ट्रपति के नाम सौंपा ज्ञापन
उन्होंने कहा कि कांग्रेस किसानों के साथ है और उनकी लड़ाई में साथ रहेंगे. उन्होंने कहा कि सरकार या तो इस अध्यादेश को वापस ले या फिर जो उसमें संशोधन करने की बात है उसको लागू करे. बता दें कि एक तरफ केंद्र सरकार इस बिल को किसानों की भलाई का और आजादी का बिल बता रही है तो दूसरी तरफ विपक्ष इस बिल को किसानों और व्यापारियों को बर्बाद करने वाला बिल बता रहा है. 25 सितंबर को भारतीय किसान यूनियन ने भारत बंद का ऐलान किया.