पंचकूला:हरियाणा के कृषि एवं किसान कल्याण विभाग किसानों के हित में ही कई अहम कदम उठा रही है. इस दिशा में आगे बढ़ते हुए राज्य सरकार ने मेरा पानी मेरी विरासत योजना के तहत खरीफ फसलों की बिजाई के लिए कृषि उपकरणों पर ही अनुदान देने का निर्णय लिया है. इसके लिए किसानों को 30 जून 2020 तक इसके लिए ऑनलाइन आवेदन करना होगा.
इस योजना के बारे में कृषि मंत्री जेपी दलाल ने कहा कि भावी पीढ़ी को विरासत में आगे पानी देना है, तो हमें आज ही समझना होगा. जल संरक्षण की दिशा में प्रदेश सरकार की तरफ से गंभीरता से प्रयास किए जा रहे हैं. इस दिशा में कारगर योजनाएं क्रियान्वित की गई हैं, इसी कड़ी में 'मेरा पानी मेरी विरासत' योजना शुरू की गई है, जिसका उद्देश्य किसानों को धान की बजाय दूसरी फसल लगाने के लिए प्रेरित करना है ताकि किसान फसल विविधीकरण की ओर अग्रसर होकर सरकार की जल संरक्षण मुहिम में योगदान दे सकें.
30 जून तक करना होगा आवेदन
किसानों को अनुदान के लिए 30 जून 2020 तक ऑनलाइन आवेदन करना होगा. उन्होंने बताया कि किसानों को मशीन खरीदने के बाद विभागीय पोर्टल www.agriharyana.com पर 30 जून तक मशीन का बिल, ई-वे बिल, स्वयं घोषणा पत्र और मशीन के साथ किसानो की फोटो पोर्टल पर अपलोड करना अनिवार्य है. कृषि विभाग की तरफ से साल 2020-21 में खरीफ फसलों की बिजाई के लिए न्यूमेटिक प्लांटर, मल्टीक्रॉप मेज प्लांटर, रेज्ड बैड प्लान्टर (मेज) आदि मशीनों पर अनुदान दिया जा रहा है.
'पहले आओ , पहले पाओ' आधार पर मिलेगा अनुदान
यह अनुदान किसानों को 'पहले आओ , पहले पाओ' के आधार पर दिया जाएगा. कृषि मंत्री जयप्रकाश दलाल ने बताया कि अनुसूचित जाति, लघु और सीमांत तथा महिला किसानों के लिए 50 प्रतिशत और बड़े किसानों के लिए 40 प्रतिशत या अधिकतम तय सीमा तक अनुदान दिया जाना है. मशीनों के भौतिक सत्यापन के समय किसानों को सभी दस्तावेज जैसे आवेदन प्रार्थना पत्र आधार कार्ड, पैन कार्ड, ट्रैक्टर की आरसी, बैंक पासबुक की कॉपी, जमीन की रिपोर्ट और हलफनामा जमा करवाने होंगे.
हमारी मंशा पानी बचाने की है- कृषि मंत्री
कृषि मंत्री ने कहा कि सरकार की मंशा भूमिगत पानी को बचाने के लिए क्षेत्र में भूमिगत जल स्तर 40 मीटर से नीचे है उन क्षेत्रों में किसानों से धान लगाने के आह्वान किया जा रहा है, ताकि भविष्य में संकट उत्पन्न ना हो और किसान की भूमि भी उपजाऊ बनी रहे. कृषि मंत्री ने बताया कि मेरा पानी-मेरी विरासत योजना के प्रति किसानों को और अधिक आकर्षित करने के लिए ही राज्य सरकार की तरफ से आप खरीफ फसलों की बिजाई के लिए कृषि उपकरणों पर भी अनुदान देने का निर्णय लिया गया है.
क्या है 'मेरा पानी, मेरी विरासत' योजना?
बता दें कि, 23 अप्रैल 2020 को हरियाणा सरकार ने 'मेरा पानी, मेरी विरासत' योजना के तहत एक अधिसूचना जारी की थी. जिसमें प्रदेश के कुछ ब्लॉक में पानी की कमी को देखते हुए सरकार ने धान की खेती पर रोक लगा थी. साथ ही सरकार ने दूसरी फसल अपनाने पर प्रति एकड़ पर 7 हजार रुपये का अनुदान देने का वादा भी किया. सरकार की ओर से कहा गया कि जो किसान धान की खेती की जगह ज्वार, मक्का, कपास, दालें सब्जी आदि की खेती करेंगे उनको सरकार 7 हजार रुपये प्रति एकड़ पर देगी.