नूंह: स्वास्थ्य विभाग के कंधे से कंधा मिलाकर काम कर रही आशा वर्कर्स राज्य सरकार से परेशान हैं. मांगें पूरी नहीं होने से नाराज आशा वर्कर पिछले कई दिनों से लगातार धरना दे रही हैं.
आशा वर्कर्स ने दो टूक कहा कि जब तक सरकार उनकी न्यूनतम वेतन सहित अन्य मांगों पर विचार नहीं करती तब तक धरना और हड़ताल जारी रहेगा. अब सरकार को तय करना है कि उनको आशा वर्कर का धरना प्रदर्शन कितने दिन तक चलाना है.
नूंह में आशा वर्करों की हड़ताल जारी, देखें वीडियो उन्होंने कहा कि प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री एवं स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के साथ आशा प्रतिनिधि मंडल की बैठक होनी है, लेकिन अभी तक सरकार की तरफ से कोई बुलावा उन्हें नहीं मिला है.
आशा वर्कर सरकार के रवैये से बेहद नाराज हैं और उन्होंने कहा कि जब काम करना होता है, तो आशा वर्कर्स की याद आती है और जब वेतन देना तो सरकार उस पर गंभीर नहीं दिखाई देती.
उन्होंने कहा कि उन्हें कम से कम न्यूनतम वेतन 18000 हजार रुपये महीना चाहिए. महिलाओं ने राज्य सरकार की बेटी बचाओ -बेटी पढ़ाओ योजना पर भी निशाना साधते हुए कहा कि वो भी प्रदेश की बेटियां हैं. उनको आज वेतन की वजह से धरना प्रदर्शन करने को मजबूर होना पड़ रहा है, लेकिन सरकार का इस पर कोई ध्यान नहीं है.
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