कुरुक्षेत्र: आधुनिकता के इस दौर में आज की पीढ़ी शहरों की ओर दौड़ रही है. आधुनिकरण में लोग अपनी संस्कृति और पुरखों से मिली विरासत को भूलते जा रहे हैं, लेकिन आज भी कुछ ऐसे लोग हैं जो नहीं चाहते कि हमारी आने वाली पीढ़ी अपने इतिहास को भूले. हरियाणा के कुरुक्षेत्र जिले में रहने वाले डॉ. महासिंह पूनिया हरियाणा की खोती विरासत को सहेजने की कोशिशों में लगे हुए हैं. महासिंह पूनिया एक ऐसा गांव (Virasat Heritage Village Of Mahasingh Poonia) बसा रहे हैं जहां हरियाणा की प्राचीन संस्कृति की झलक दिखती है, महासिंह पूनिया ने इस गांव का नाम विरासत हेरिटेज विलेज रखा है.
कुरुक्षेत्र जिले के मसाना गांव में बना ये हेरिटेज विलेज (Virasat Heritage Village in masana), हरियाणा की सांस्कृतिक विरासत का एक संग्राहल है. जहां दशकों से लुप्त हो रही हरियाणा की संस्कृति को सहेजा गया है. महासिंह पूनिया इससे पहले कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय में बने धरोहर में क्यूरेटर के पद पर रह चुके हैं, उनके दिल में हमेशा से ये बात रही कि वो कुछ ऐसा करें कि आने वाली पीढ़ी का हरियाणा की संस्कृति और रहन सहन से जुड़े रहें. अब महासिंह पूनिया चाहते हैं कि वो पूरे उत्तर भारत की लुप्त होती सांस्कृतिक विरासत को सहेज कर रखें.
डॉक्टर महासिंह पूनिया का बनाया ये हेरिटेज विलेज पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र बनता जा रहा है. यहां पर हरियाणा के विभिन्न शहरों से तो लोग आते हैं, वहीं देश के अन्य राज्य और विदेशों से भी लोग भ्रमण करने पहुंचते हैं. विरासत हेरिटेज विलेज में हरियाणा के खास रथ, बैल गाड़ियों के लकड़ी के पहिए, दादा खेड़ा, कुएं का पनघट और पुरानी तकनीक से बने घर पर्यटकों का दिल छू लेते हैं.