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खेदड़ पावर प्लांट के पास रेलवे लाइन को अज्ञात व्यक्तियों ने उखाड़ा, SFJ ने ली जिम्मेदारी - Khalistani terrorist Gurpatwant Singh Pannu

हिसार खेदड़ पावर प्लांट (Khedar Power Plant Hisar) के पास जाने वाली रेलवे लाइन को अज्ञात व्यक्तियों द्वारा उखाड़ दिया गया है. इसी पटरी से खेदड़ पावर प्लांट में रेलवे द्वारा कोयला सप्लाई किया जाता है. रेलवे लाइन को उखाड़ने की यह घटना शुक्रवार देर रात की बताई जा रही है

Khedar Power Plant Hisar
खेदड़ पावर प्लांट के पास रेलवे लाइन को अज्ञात व्यक्तियों ने उखाड़ा, SFJ ने ली जिम्मेदारी

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Published : Jul 16, 2022, 1:52 PM IST

हिसार:हरियाणा के हिसार खेदड़ पावर प्लांट (Khedar Power Plant Hisar )के पास जाने वाली रेलवे लाइन को अज्ञात व्यक्तियों द्वारा उखाड़ दिया गया है. इसी पटरी से खेदड़ पावर प्लांट में रेलवे द्वारा कोयला सप्लाई किया जाता है. रेलवे लाइन को उखाड़ने की यह घटना शुक्रवार देर रात की बताई जा रही है. रेल पटरी उखाड़ने की सूचना मिलने पर प्रशासन के आला अधिकारी और पुलिस मौके पर पहुंच गई है. फिलहाल रेलवे ट्रैक की मरम्मत कर दोबारा शुरू हो चुका है.


एसएफजे ली पटरी उखाड़ने की जिम्मेदारी-रेल पटरी को उखाड़ने की जिम्मेदारी ने सिख फार जस्टिस (SFJ) संगठन ने ली है. धमकी भरे इस वीडियो को विदेश में बैठे खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू ने जारी किया है. वीडियो जारी कर गुरपतवंत ने धमकी दी है आने वाले स्वतंत्रता दिवस यानि 15 अगस्त के दिन पूरे देश में ब्लैक आउट कर दिया जाएगा. आज हिसार के राजीव गांधी खेदड़ पावर प्लांट (Rajiv Gandhi Khedar Power Plant) में जाने वाली रेलवे लाइन को उखाड़ कर कोयला सप्लाई को रोका जो कि बस शुरूआत है. आने वाले वक्त देश के कई पावर प्लांट में कोयले की सप्लाई को बाधित कर दिया जाएगा ताकि देशभर में बिजली सप्लाई रूक जाय.

खेदड़ राख का मामला क्या है- 2010 में जब खेदड़ थर्मल प्लांट शुरू हुआ था तब प्लांट से निकलने वाली कोयले की राख उनके लिए बड़ी समस्या थी. थर्मल प्लांट से बातचीत के बाद गांव वालों ने उस राख को उठाना शुरू किया. गांव वाले धीरे-धीरे उस राख से होने वाले मुनाफे से एक गौशाला का निर्माण कर उसे चलाने लगे. आज के समय में राख का इस्तेमाल सीमेंट बनाने में इस्तेमाल होने लगी. इसके चलते उसका दाम बढ़ गया.दाम बढ़े तो खेदड़ थर्मल प्लांट ने उससे मुनाफा कमाने के लिए कंपनियों को बेचने का निर्णय लिया. ग्रामीण इसी का विरोध कर रहे हैं और कह रहे हैं. गांव वालों का कहना है कि जब राख फालतू थी तो हम उठा रहे थे. आज मुनाफा आया तो खुद बेचने लगे. राख बेचने के मुनाफे से बनाई गई उस गौशाला में करीब 1000 गाय हैं. गौशाला ने राख हटाने के लिए लाखों रुपए की मशीनें भी खरीदी हैं. अब थर्मल पावर प्लांट उसका टेंडर जारी कर रहा है.

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