हिसार:आवश्यकता ही आविष्कार की जननी है. ये कहावत आपने सुनी होगी, लेकिन इस कहावत को हिसार के एक छोटे से गांव पेटवाड के किसान प्रदीप ने सच साबित कर दिखाया है. प्रदीप आज एक मूवेबल सौलर का बिजनेस कर रहे हैं. पूरे देश में इनके बनाए सोलर पैनल सेट इस्तेमाल किए जा रहे हैं, लेकिन प्रदीप की इस सफलता के पीछे एक रोचक कहानी है.
प्रदीप शुरू से ही अपने खेतों में सोलर पैनल का इस्तेमाल करते थे, लेकिन खेतों में सौलर पैनल इस्तेमाल करने से उन्हें काफी परेशानियां आती थी. कई बार उनके पैनल चोरी हो गए, जिसके बाद उन्हें बड़ा आर्थिक नुकसान हुआ. ऐसे में प्रदीप ने इसका समाधान खोजने की कोशिश की. प्रदीप ने सोचा कि मैं कुछ ऐसा सोलर पैनल बनाऊंगा जो कभी चोरी नहीं हो सके और इसके और भी कई उपयोग किये जा सके.
प्रदीप ने इसके लिए एक ट्राली बनाई. उस पर सोलर पैनल को इस तरीके से सेट किया कि उसे फोल्ड भी किया जा सके किया जा सके और एक जगह से दूसरी जगह पर ले जाया जा सके. प्रदीप ने इस योजना पर काम किया और सफलता भी हासिल की. उन्होंने ट्रांसपोर्टेबल सौलर पैनल का ऐसा डिजाइन बनाया कि रातों रात पॉपुलर हो गया.
इस सोलर ट्रॉली की बहुत सारी खासियत है, इस ट्रॉली को किसान के सोलर पावर यूज के हिसाब से बनाया जाता है और इसमें लगे सोलर पैनल को फोल्ड कर एक जगह से दूसरी जगह ले जाया जा सकता है. किसान के दो खेत होने पर भी एक ही सोलर पैनल से दोनों खेत में पानी चलाया जा सकता है. इससे किसानों की खेत में सौलर पैनल सेट लगवाने के लिए जगह बर्बाद नहीं होती. वहीं खेत में पानी देने के बाद किसान इस सौलर पैनल को एक कनवर्टर से जोड़ कर घर में भी बिजली इस्तेमाल करने के लिए कर सकता है. इससे किसान पर एक और फायदा है कि किसी के पास सोलर पैनल नहीं है. उस पड़ोसी को किराए पर भी दे देता हूं, उसको भी डीजल पेट्रोल से सस्ता पड़ता है और मेरे पास भी कुछ पैसे जाते हैं.