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मिरकां गांव हत्याकांड: 14 दिन बाद भी नहीं किया मृतक का अंतिम संस्कार, मांगों को लेकर अड़े परिजन

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Published : Dec 27, 2021, 9:18 AM IST

Updated : Dec 27, 2021, 2:18 PM IST

मिरकां गांव हत्याकांड: 14 दिसंबर को एक युवक की पीट-पीट कर हत्या करने का मामला तूल पकड़ चुका है. जिसके बाद शनिवार को भीम आर्मी के अध्यक्ष चंद्रशेखर रावण (Bhim Army President Chandrashekhar Ravan in hisar) ने भी पीड़ितों से मुलाकात की थी. मौत के 14 दिन बाद भी परिजनों ने मृतक का अंतिम संस्कार नहीं किया और अपनी मांगों को लेकर अड़े हैं.

mirka village murder case in hisar
दलित युवक की हत्या के 13 दिन बाद भी परिजनों ने मृतक का अंतिम संस्कार नहीं किया और अपनी मांगों को लेकर अड़े है.

हिसार: हरियाणा के हिसार जिले के मिरकां गांव में एक दलित युवक की हत्या (mirka village murder case in hisar) कर दी गई थी. जिसके बाद परिजनों और दलित समुदाय के लोगों में काफी रोष है. इसी वजह से हत्या के 14 दिन बाद भी मृतक का अंतिम संस्कार नहीं हुआ है. शनिवार को भीम आर्मी के अध्यक्ष चंद्रशेखर रावण (Bhim Army President Chandrashekhar Ravan in hisar) ने भी पीड़ितों से मुलाकात की थी.

परिजनों से मुलाकात के दौरान चंद्रशेखर रावण ने हिसार पुलिस के डीएसपी अशोक कुमार और नारायण चंद्र से आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है. इस दौरान बड़ी संख्या में सामाजिक संगठन और अनुसूचित जाति संगठनों के लोगों ने सिविल अस्पताल पहुंचकर हिसार पुलिस मुर्दाबाद के नारे लगाए. मृतक के परिजनों ने आरोप लगाया है कि गांव के ही कई युवकों ने विनोद, उसके दो साथी संदीप और भाल सिंह को बीच रास्ते रोक कर पीटा है.

क्या है मिरका गांव हत्याकांड मामला

14 दिसंबर को एक युवक की पीट-पीट कर हत्या करने का मामला सामने आया था. जानकारी के मुताबिक युवक पर पानी की मोटर चोरी करने के शक में ये हमला किया गया. बुरी तरह से पिटाई के बाद बाद युवक विनोद की मौत हो गई थी. मौत के बाद पूरे दलित समुदाय के लोग और सामाजिक संगठन सड़क पर उतर आए और लगातार धरना प्रदर्शन कर रहे हैं. विरोध प्रदर्शन में हिसार समेत पूरे हरियाणा के 30 से ज्यादा संगठन शामिल हैं.

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पीड़ित के परिजनों ने मुताबिक उनके गांव के ही कई युवक सुबह विनोद को पूछने आए थे. परिजनों ने उन्हे बताया कि वो मजदूरी करने के लिए चला गया है. इसके बाद युवकों ने विनोद और उसके साथी संदीप व भाल सिंह को पूछताछ के बहाने रास्ते में रोक लिया. वे युवक तीनों को पकड़कर पहले खेत में ले गए और फिर वहां उनकी पिटाई की. पिटाई करने के बाद दबंगों ने गांव के सरपंच को फोन करके बुलाया कि उन्होंने मोटर चोरी करने वालों को पकड़ लिया है. जब गांव का सरपंच वहां पहुंचा तब तक विनोद की मौत को चुकी थी जबकि संदीप व भाल सिंह बुरी तरह से तड़प रहे थे. सरपंच ने पुलिस को फोन कर मौके पर बुलाया. मृतक विनोद का शव 13 दिन से पोस्टमार्टम के लिए नागरिक अस्पताल में रखा हुआ है. पुलिस मामले की जांच में जुटी हुई है. वहीं भीम आर्मी के चीफ चंद्रशेखर रावण ने भी शनिवार को पीड़ित परिवारों और स्थानीय प्रशासन से मुलाकात कर मामले को जल्द से जल्द सुलझाने की मांगी की थी.

क्या है मृतक के परिजनों की मांग

मृतक युवक विनोद के परिजन 50 लाख मुआवजा, सरकारी नौकरी की मांग कर रहे हैं. इसके अलावा जो घायल हैं उनके लिए 25-25 लाख रूपये मुआवजे के तौर पर देने की मांग है.पीड़ित परिवार ये भी कह रहा है कि हत्याकांड में शामिल 17 आरोपियों को तत्काल गिरफ्तार कर कड़ी से कड़ी सजा दिलाई जाए. अभी तक इस मामले में 10 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है. प्रशासन अपनी तरफ से पीड़ित के परिजनों को 4 लाख रुपये आर्थिक मदद के तौर पर दे चुका है. इसके अलावा पीड़ित परिवारों को सुरक्षा और सभी परिवारों को लाइसेंसी बंदूक दिए जाने की मांग की है.

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Last Updated : Dec 27, 2021, 2:18 PM IST

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