हिसार: कोरोना की दूसरी लहर से संक्रमित मरीजों की संख्या में तेजी से इजाफा हो रहा है. दिन बीतने के साथ-साथ स्थिति भयावह होती जा रही है. हालात ये हैं कि आस्पतालों में ना बेड बचे हैं और ना ही आक्सीजन, मरीजों की भीड़ अस्पतालों में बढ़ती जा रही है. ऐसे में ईटीवी भारत हरियाणा की टीम ने हिसार के नागरिक अस्पताल का ज्यजा लिया और जाना कि क्या अस्तपाल में कोरोना नियमों की पालना की जा रही है?
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ईटीवी भारत ने जाना कि क्या अस्पताल की वजह से तो कोरोना नहीं फैल रहा. कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए क्या कदम उठाए गए हैं. पीएमओ डॉक्टर मनीष बंसल का दावा है कि अस्पतालों में संक्रमण रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग की तरफ से पुख्ता इंतजाम किए गए हैं.
कोविड-19 टेस्टिंग और वैक्सीनेशन की लाइनों में नहीं 'दो गज की दूरी' पीएमओ डॉक्टर मनीष बंसल का दावा है कि अस्पतालों में संक्रमण रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग की तरफ से ओपीडी का टाइम भी बदल दिया है. विभाग की तरफ से ओपीडी का टाइम बदलकर 9:00 से 12:00 तक करने के आदेश मिले हैं, वहीं फ्लू के लक्षण वाले मरीजों के लिए अलग से फ्लू वार्ड बनाया गया है.
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ईटीवी भारत हरियाणा ने जब अस्पताल का जायजा लिया तो तस्वीरें दावों से अलग मिली. सरकारी अस्पताल में सोशल डिस्टेंसिंग दूर-दूर तक दिखाई नहीं दे रही थी. यहां तक जो लोग कोरोना का टेस्ट करवाने के लिए आए हैं वो भी दो गज की दूरी का पालन नहीं कर रहे. ऐसे में संक्रमण का खतरा और बढ़ने का डर है. अस्पताल प्रशासन की तरफ से नियमों का पालन करने के लिए किसी की ड्यूटी तक नहीं गई गई है.
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संक्रमण फैलने के कारणों के सवाल पर डॉक्टर कुलदीप शर्मा ने बताया कि ज्यादातर देखने में आ रहा है कि अस्पतालों में वैक्सीनेशन और टेस्टिंग के लिए लाइनें लगी हुई हैं. ऐसे में लोग सोशल डिस्टेंस का पालन भी नहीं कर रहे हैं, इन जगहों पर करोना संक्रमण होने का खतरा ज्यादा होता है, लोगों को धैर्य रखना चाहिए क्योंकि सबकी वैक्सीन लगेगी और टेस्ट भी होगा. भीड़ में या सार्वजनिक प्रोग्रामों में जाने से लोगों को बचना चाहिए, क्योंकि वहां सोशल डिस्टेंसिंग का पालन चाहते हुए भी नहीं हो पाता. साथ ही हॉस्पिटल में जाने से लोगों को बचना चाहिए, अगर ज्यादा ही दिक्कत है तो ही हॉस्पिटल में जाएं क्योंकि हॉस्पिटल में संक्रमण होने का बहुत ज्यादा खतरा है.
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एक रिपोर्ट के मुताबिक हिसार में रोजाना करीब 1800 सैंपल लिए जाते हैं. जिले में 40 से 43 परसेंट के बीच पॉजिटिविटी रेट है. मतलब ये कि लाइन में खड़ा हर दूसरा व्यक्ति कोरोना पॉजिटिव है. अगर इनके संपर्क में दूसरे लोग आएंगे तो वो भी संक्रमित हो सकते हैं. सोशल डिस्टेंसिंग और कोरोना नियमों को ध्यान में रखते हुए ईटीवी भारत हरियाणा के रिपोर्टर लाइन में खड़े लोगों से बात नहीं कर पाए. लेकिन तस्वीरों में दिखाई दे रहा है कि टेस्ट और वैक्सीन लगवाने वाले लोग कोरोना नियमों को भूल ही गए हैं. जिससे की संक्रमण का खतरा और ज्यादा बढ़ रहा है.