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चरखीदादरीः महिलाओं की अगुवाई में 27 जून को रेल रोकेंगे किसान, जानिए क्यों

ग्रीन कॉरिडोर 152डी अधिग्रहीत जमीन मुआवजा वृद्धि मामला, 26 फरवरी से धरने पर बैठे हैं किसान, 27 जून को महिला और पुरुष किसान मिलकर रोकेंगे रेल,

धरने पर बैठे किसान

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Published : Jun 23, 2019, 5:27 PM IST

चरखी दादरी:ग्रीन कॉरिडोर 152-डी की अधिग्रहीत जमीन के मुआवजा वृद्धि की मांग को लेकर धरने पर बैठे किसानों ने अब महिलाओं की अगुवाई में रेल रोकने का निर्णय लिया है. महिलाओं की अगुवाई में किसान 27 जून को हरियाणा में 29 प्वाइंटों पर पंचायत, खाप और सामाजिक संगठन एक साथ मिलकर आंदोलन शुरू करेंगे.

धरने पर बैठे किसान

'संसद का कर सकते हैं घेराव'
किसान इस दौरान आर-पार की लड़ाई पर उतर आए हैं. किसान आंदोलन के दौरान संसद भवन और प्रधानमंत्री कार्यालय का घेराव भी कर सकते हैं.

26 फरवरी से धरने पर हैं किसान
दादरी जिले के 17 गांवों के किसान गांव रामनगर में गत 26 फरवरी से अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे हैं. किसानों की मांग है कि ग्रीन कॉरिडोर 152-डी नेशनल हाईवे की अधिग्रहीत जमीन का मुआवजा नए कलेक्टर रेट पर निर्धारित करके मार्केट रेट के अनुसार दिया जाए.

नितिन गडकरी से किसान कर चुके हैं बात
अपनी मांगों को लेकर किसानों की सीएम और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी से भी वार्ता हो चुकी है. जिसमें उनको आश्वासन मिला था कि जिला प्रशासन द्वारा किसानों से मिलकर कलेक्टर रेट तय कर लिया जाएगा. जिसके आधार पर उनको मुआवजा मिलेगा. धरने पर किसानों ने सरकार और प्रशासन के खिलाफ रोष प्रदर्शन करते हुए वादाखिलाफी का आरोप भी लगाया है.

महिला किसान भी उतरेंगी मैदान में
धरने पर भारी संख्या में पहुंची महिलाएं आगामी आंदोलन में आगे बढ़कर रेल रोकने की बात कह रही हैं. महिलाओं का कहना है कि पुरुष किसानों से पहले महिलाएं आत्मदाह करने को तैयार हैं. महिलाओं का कहना है कि जमीन चली गई तो किसान बेघर हो जाएंगे. किसान मरते दम तक अपनी मांगों को लेकर मैदान में डटे रहेंगे.

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