चंडीगढ़: पीजीआई चंडीगढ़ में ऑक्सफोर्ड कोविड शिल्ड वैक्सीन की पहली डोज वालंटियर्स पर कारगर साबित हो रही है. पीजीआई ने अब ऑक्सफोर्ड वैक्सीन के दूसरे फेज का ह्यूमन ट्रायल शुरू कर दिया है. वैक्सीन के दूसरे फेज का ट्रायल अब तक बेहतर चल रहा है.
बता दें कि, पीजीआई में अब तक 97 वालंटियर्स का वैक्सीन के हृयूमन ट्रायल के लिए स्क्रीनिंग की गई. इसमें से 65 को वैक्सीन की पहली डोज दी जा चुकी है. अब पीजीआई ने इन वालंटियर्स पर दूसरे फेज के ट्रायल की शुरुआत कर दी है. 25 सितंबर से वैक्सीन का हृयूमन ट्रायल शुरू किया गया है.
पीजीआई के मुताबिक 65 में से 53 वालंटीयर्स पर अब तक वैक्सीन की पहली डोज कारगर साबित रही. इन वालंटीयर्स में वैक्सीन के पहले डोज के पीरियड खत्म होने से सात दिन पहले तक कोई भी खतरनाक लक्षण सामने नहीं आए.
पीजीआई ने हाल ही में सिरो सर्वे में चौंकाने वाले तथ्य सामने रखे थे. पीजीआई के वायरोलॉजी डिपार्टमेंट के मुताबिक ऑक्सफोर्ड कोविड शिल्ड वैक्सीन के हृयूमन ट्रायल के लिए 59 लोगों की स्क्रीनिंग की गई थी. इसके अलावा सात हेल्थ वर्करों को भी इस सर्वे में शामिल किया गया था. कुल 66 लोगों पर वैक्सीन के ट्रायल के लिए की गई स्क्रीनिंग के दौरान सिरो में 66 में से पांच लोग में पहले से ही एंटीबॉडी पाई गई थी.
पीजीआई ने कोरोना संक्रमित मरीजों को चेताया है कि वह स्टेरॉयड का इस्तेमाल न करें. पीजीआई के एक्सपर्ट्स का कहना है कि जो लोग कोरोना संक्रमित पाए जा रहे हैं. वो पहले किसी न किसी स्टेरॉयड यानी दवाईयों का सेवन करते पाए गए हैं. जिसकी वजह से स्टेरायड का इस्तेमाल करने से कोरोना संक्रमित मरीजों की मौत का खतरा बढ़ता जा रहा है.
पीजीआई के एक्सपर्ट्स ने संक्रमित मरीजों को फौरन इलाज के लिए अस्पताल में एडमिट होने के लिए कहा है. संक्रमित मरीज के लिए स्टेरॉयड का इस्तेमाल घातक साबित हो रहा है. यहां तक की इंगलैंड से प्रकाशित होने वाले रिकवरी ट्रायल के मुताबिक ये बात सामने आई है कि कोरोना के शुरुआती चरणों में मरीजा को दिए गए स्टेरॉयड जान का खतरा बन रहा है.
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