चंडीगढ़: हरियाणा में इन दिनों खरीफ की फसलों की खरीद लगातार जारी है और इस बार सरकार दो फसलों की बजाए 4 फसलों की खरीद एमएसपी पर कर रही है. इससे पहले बाजरा और धान की खरीद एमएसपी पर की जाती थी लेकिन इस बार मूंग और मक्का की खरीद भी एमएसपी पर की जा रही है.
पिछले साल जहां 64 लाख टन से ज्यादा धान की खरीद हुई थी. वहीं इस साल अभी तक 42 लाख 50 हजार टन से ज्यादा धान की खरीद हो चुकी है. हरियाणा के खाद्य और आपूर्ति विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव पीके दास का कहना है कि इस साल धान की खरीद करीब 50 से 55 लाख टन होने की उम्मीद है.
पिछले साल के मुकाबले इस बार धान की खरीद हुई कम
साल 2019 में बाजरे की खरीद साढ़े 3 लाख टन हुई थी, जबकि 2020 में अभी तक ढाई लाख टन खरीद हो चुकी है. वहीं मूंग की खरीद 756 टन हुई है. बाजरे की खरीद 2 लाख 80 हजार टन और मक्का की खरीद 2 हजार 471 टन हुई है. उन्होंने बताया कि अभी तक खरीफ की फसलों को लेकर किसानों की तरफ से मेरी फसल मेरा ब्योरा पोर्टल पर 7 लाख 80,864 किसानों ने 4,38,444 एकड़ जमीन का रजिस्ट्रेशन करवाया है. पीके दास ने बताया कि किसानों को अभी तक 3000 करोड़ की पेमेंट की जा चुकी है.
इस साल धान की फसल की कम खरीद होने का एक बड़ा कारण मेरा पानी मेरी विरासत योजना बताया जा रहा है. जिसके तहत बड़ी संख्या में किसानों ने धान की फसल छोड़कर दूसरी फसलों का रुख किया है. जिसके तहत 1,18,128 हेक्टेयर से ज्यादा में किसानों ने धान की फसल छोड़कर दूसरी फसलों को अपनाया है.
बाजरे की खरीद को लेकर पीके दास ने कहा कि सिर्फ पंजीकृत किसानों की ही बाजरे की फसल खरीदी जाएगी क्यों कि वो नहीं चाहते कि दूसरे राज्यों के किसान हरियाणा में आकर अपनी फसल बेंचे और इससे किसानों के साथ-साथ सरकार को भी नुकसान उठाना पढ़ता है.