चंडीगढ़:कुश्ती कभी ग्रामीण खेल था, जो गांवों में बने अखाड़ों तक ही सीमित था, लेकिन जब 2012 लंदन ओलंपिक में पहलवान सुशील कुमार(wrestler sushil kumar) और योगेश्वर दत्त ने देश के लिए मेडल जीते तो कुश्ती अचानक से इंटरनेशल गेम बन गया. अब कुश्ती ना सिर्फ सम्मान का खेल बन गई है बल्कि आज लाखों युवा सुशील कुमार और योगेश्वर दत्त को आदर्श मानकर देश के लिए पहलवानी कर मेडल लाने का सपना देखते हैं.
यहां पर ये बता दें कि पहलवानों और अपराध (haryana wrestlers crime) का गठजोड़ कोई नई बात नहीं है. अपने करियर में नाकाम बहुत से ऐसे पहलवान हैं, जो या तो बाउंसर बनए गए, नहीं तो उन्होंने किसी बड़े गैंगस्टर या माफियाओं से हाथ मिला लिया. इसका ताजा उदाहरण सागर धनखड़ हत्याकांड है. जिसमें सुशील कुमार पर ना सिर्फ मर्डर का आरोप लगा है बल्कि उनका नाम कई कुख्यात गैगस्टरों के साथ जोड़ा गया है.
ये भी पढ़िए:सागर हत्याकांडः क्या अब सुशील कुमार से छीन लिए जाएंगे ओलंपिक मेडल? जानिए क्या हैं IOC के नियम
अभी कुछ साल पहले ही हरियाणा में एक सरपंच की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. इस मामले में पहलवान नवीन दलाल का नाम सामने आया था. वहीं नवीन दलाल, जिसने दिल्ली के कॉन्स्टिट्यूशन क्लब के बाहर उमर खालिद पर 2 फायर किए थे. बता दें कि पहलवान नवीन दलाल हरियाणा के मांडोठी गांव का रहने वाला है.
इसी तरह हरियाणा के पहलवान राकेश मलिक पर कत्ल का इल्जाम है. आरोप ये भी है कि पहलवान राकेश मलिक ने कत्ल के मामले में जेल से बाहर निकलने के बाद एक और हत्या का प्रयास किया था.
ये भी पढ़िए:पहलवान सागर के परिजन बोले- 20 हड्डियां टूटी, फिर भी नहीं पसीजा सुशील का दिल, सिर पर खून सवार था
इसके अलावा 27 मई को ही दिल्ली की द्वारका स्पेशल स्टाफ टीम ने जूनियर लेवल पर नेशनल रेसलिंग में गोल्ड जीत चुके एक रेसलर को गिरफ्तर किया है. ये रेसलर कौशल गैंग का एक्टिव सदस्य बताया जा रहा है. जानकारी के मुताबिक आरोपी मंजीत हरियाणा के झज्जर जिले का रहने वाला है, जो पहले जूनियर लेवल पर नेशनल रेसलिंग में गोल्ड जीत चुका है. इस पहलवान पर कई लूट के मामले दर्ज हैं. उसे साल 2013 में हरियाणा से एक कार लूट के मामले में गिरफ्तार किया गया था.