नई दिल्ली/चंडीगढ़ः सीबीआई ने बोफोर्स मामले की नए सिरे से जांच कराने के लिए दायर अर्जी वापस ले ली है. इसके पहले कोर्ट दस्तावेजों की उपलब्धता नहीं होने के कारण कई बार सुनवाई टाल चुका था. कोर्ट को जब ये बताया गया कि दस्तावेज अभी लाए नहीं गए हैं. 27 फरवरी 2018 को भी कोर्ट ने कहा था कि ये मामला सुप्रीम कोर्ट में लंबित है, इसलिए अभी सुनवाई करना मुमकिन नहीं है.
CBI ने किया था नए सबूतों का दावा
सीबीआई ने याचिका दायर कर कहा था कि इस मामले में नए तथ्य और सबूत मिले हैं जिनके आधार पर मामले की दोबारा जांच की जरूरत है. दिल्ली हाईकोर्ट ने 31 मई 2005 को बोफोर्स मामले के सभी आरोपियों को बरी कर दिया था. सीबीआई द्वारा ये याचिका तब दायर की गई थी जब अटार्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने सीबीआई को दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती न देने की सलाह दी थी.
2 नवंबर 2018 को सुप्रीम कोर्ट ने बोफोर्स मामले में दिल्ली हाईकोर्ट द्वारा हिंदुजा बंधुओं को क्लीन चिट देने के 2005 के फैसले के खिलाफ दाखिल सीबीआई की अपील को खारिज कर दिया था. कोर्ट ने सीबीआई से कहा था कि 13 साल के बाद इस अपील का क्या मतलब है.
सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि इस मामले में एक और याचिकाकर्ता की अपील लंबित है आप उस याचिका पर सुनवाई के समय अपना पक्ष रखिएगा. सुनवाई के दौरान सीबीआई ने कहा था कि इस मामले में नए तथ्य सामने आए हैं. जिन पर विचार करना जरूरी है तब कोर्ट ने कहा कि दूसरी लंबित याचिका पर आप अपना पक्ष रखें. लेकिन अब सीबीआई ने खुद अपनी याचिका वापस ले ली है.