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हरियाणा में भारत बंद का दिखा असर: सड़कों से लेकर रेलवे ट्रैक पर बैठे रहे किसान, गुरुग्राम में लगा लंबा जाम

संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर सोमवार को भारत बंद (Bharat bandh haryana) किया गया. इस दौरान जहां कई नेशनल और स्टेट हाईवे ब्लॉक रहे. तो कई जगह किसान रेलवे ट्रैक पर भी बैठ गए. यहां हम आपको बता रहे हैं कि हरियाणा के जिलों में भारत बंद का कैसा असर रहा.

bharat bandh in haryana
bharat bandh in haryana

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Published : Sep 27, 2021, 8:16 PM IST

चंडीगढ़:तीन कृषि कानूनों के खिलाफ सोमवार को बुलाया गया किसानों का भारत बंद (Bharat bandh haryana) खत्म हो गया है. सुबह 6 से शाम 4 बजे तक रहे बंद के दौरान कई नेशनल और स्टेट हाईवे ब्लॉक रहे. कई जगह किसान रेलवे ट्रैक पर भी बैठ गए. वहीं व्यापारियों ने भी दुकानें, बाजार बंद रखे. हरियाणा में भी कई जिलों में भारत बंद का असर देखने को मिला. हरियाणा में जहां गुरुग्राम जिले में कई किलोमीटर लंबा जाम देखने को मिला तो वहीं कई जगह किसान रेलवे ट्रैक पर बैठ गए. यहां हम आपको बता रहे हैं कि पूरे हरियाणा के जिलों में भारत बंद का कैसा असर रहा.

सुबह सोनीपत के गन्नौर स्थित भारतीय अंतरराष्ट्रीय बागवानी मार्केट (Indian International Horticulture Market) के सामने किसानों ने नेशनल हाईवे-44 को जाम (Farmers blocked National Highway-44) कर दिया. किसान चंडीगढ़-दिल्ली जाने वाले रास्ते पर पत्थर लगाकर धरने पर बैठ गए. बागवानी मार्केट में ही किसानों के लिए लंगर की व्यवस्था की गई है. किसानों के धरने को देखते हुए सोनीपत प्रशासन ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए हैं.

सिरसा में रोडवेज कर्मचारियों ने किया चक्का जाम

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वहीं सिरसा में भी भारत बंद का असर देखने को मिला. किसानों ने सिरसा के मुख्य मार्गों को जाम कर धरना प्रदर्शन किया. व्यापारियों और दुकानदारों ने भी किसानों के इस भारत बंद का समर्थन किया. किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए सिरसा में भारी पुलिस बल तैनात किया गया था. इसके अलावा सिरसा रोडवेज पर भी बंद का असर देखने को मिला. सोमवार सुबह से हिसार रोड स्थित बस अड्डा परिसर से एक भी बस गंतव्य के लिए नहीं निकली. बसों का पूरी तरह से चक्का जाम रहा. रोडवेज कर्मचारियों ने बस अड्डा परिसर में नारेबाजी की. इसके बाद रोष जाहिर करते हुए किसान संगठनों के धरने को समर्थन दिया. बसों के नहीं चलने से यात्रियों को खासी परेशानियों का सामना करना पड़ा.

साइबर सिटी गुरुगाम की बात करें तो यहां दिल्ली-गुरुग्राम हाइवे पर कई किलोमीटर लंबा जाम लग गया. ट्रैफिक की स्पीड इतनी धीमी थी कि गाड़ियां चल नहीं बल्कि रेंग रही थी. दरअसल, भारत बंद के कारण पुलिस हर वाहन की चेकिंग कर रही है जिसकी वजह से बॉर्डर पर लंबा जाम लग गया. अपनो दफ्तरों के लिए जा रहे लोगों को घंटों तक कारों में ही कैद रहना पड़ा.

गुरुग्राम में लगा लंबा जाम

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एक तरफ सड़कों पर वाहनों का जमावड़ा दिखा तो दूसरी तरफ ट्रेनों के पहिए भी थमे दिखे. जिसकी वजह से यात्रियों को काफी परेशानी हुई. भारत बंद की वजह से कुरुक्षेत्र रेलवे स्टेशन (Kurukshetra Railway Station) पर भोपाल से चलकर कटरा जा रही मालवा एक्सप्रेस ट्रेन (malwa express train) को भी रोक दिया गया. सुबह 6 बजे से ट्रेन कुरुक्षेत्र रेलवे स्टेशन पर खड़ी रही. जिसकी वजह से लोगों को काफी परेशानी हो रही थी.

कुरुक्षेत्र में घंटों रुकी रही ट्रेनें

भारत बंद का असर हरियाणा के यमुनानगर जिले में भी देखने को मिला. भारत बंद के दौरान सोमवार को यमुनानगर में औरंगाबाद के पास रेलवे ट्रैक पर जाम लगाकर बैठे सैकड़ों किसानों की जान बाल-बाल बच गई. क्योंकि सुबह 6 बजे से किसानों ने यहां ट्रैक जाम कर दिया था. करीब 8 बजे अंबाला की तरफ से और सहारनपुर की तरफ से दोनों ट्रैक पर मालगाड़ियां आ गई, लेकिन किसान ट्रैक से नहीं हटे. जिसके चलते लोको पायलट ने इमरजेंसी ब्रेक लगाकर ट्रेन रोकी. इस दौरान उनकी किसानों के साथ तीखी नोकझोंक भी हुई.

सोनीपत में किसानों को रेलवे ट्रैक से हटाती पुलिस

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सोनीपत में रेलवे ट्रैक पर कुछ ऐसा ही नजारा देखने को मिला. संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर किसान सोनीपत रेलवे स्टेशन पर रेलवे ट्रैक जाम करने पहुंचे थे, लेकिन तभी वहां से एक तेज रफ्तार मालगाड़ी गुजर रही थी. किसान मालगाड़ी के सामने उसे रुकवाने के लिए पहुंच गए, लेकिन मौके पर मौजूद आरपीएफ इंस्पेक्टर और अन्य पुलिसकर्मियों की तत्परता से कई किसानों की जान बच गई. पुलिस कर्मियों की बहादुरी की तस्वीरें भी सामने आई हैं. अगर सोनीपत आरपीएफ में तैनात पुलिसकर्मी जल्दबाजी नहीं करते तो कोई बड़ा हादसा हो सकता था.

हिसार में किसानों ने मुख्य मार्गों को किया बंद

हिसार की बात करें तो यहां 100 से ज्यादा स्थानों पर रास्ते जाम किए गए. हिसार-दिल्ली, हिसार-चड़ीगढ़, हिसार-राजगढ़ और हिसार-सिरसा नेशनल हाइवे पर जाम लगाया गया. रामायण और मुकलान में ट्रेन रोकने के लिए ट्रैक पर भी किसान धरना दे रहे थे. जिला प्रशासन ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए थे. व्यवस्था बनाए रखने के लिए 24 ड्यूटी मजिस्ट्रेट, 24 पुलिस अफसर व दस रिजर्व अफसरों की ड्यूटी लगाई गई थी. भारत बंद के समर्थन में व्यापारियों के साथ अधिकतर दुकानदारों ने दुकानें बन्द रखी. वहीं इमरजेंसी सेवाओं को रास्ता दिया जा रहा था.

रेलवे ट्रैक पर बैठे किसान

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वहीं चरखी दादरी जिले में खापों की अगुवाई में किसानों ने शहर के मुख्य मार्गों को जाम कर दिया था. अनाजमंडी, सब्जीमंडी और बाजार भी जिले में पूर्ण रूप से बंद रहे. किसानों ने रेलवे ट्रैक को भी जाम किया. प्रशासन ने 21 ड्यूटी मैजिस्ट्रेट नियुक्त किए थे. दादरी जिले में खापों की अगुवाई में किसानों ने रोहतक, दिल्ली, महेंद्रगढ़, भिवानी और लोहारू मार्गों समेत रेलवे ट्रैक को सुबह 6 बजे ही जाम कर दिया था. रोड जाम की वजह से आम लोगों को काफी परेशानी हुई. वहीं इमरजेंसी सेवाओं को जाने दिया जा रहा था.

रेलवे ट्रैक पर प्रदर्शन करते किसान

भिवानी जिले में किसानों ने 10 हाईवे और दो जगह रेलवे ट्रैक को जाम किया. किसानों के प्रदर्शन की वजह से किसानों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा. किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए मौके पर पुलिस बल भी तैनात रहा. वहीं सीआरपीएफ की टुकड़ी को रिजर्व रखा गया है. किसान नेता ओमप्रकाश और बलबीर बजाड़ ने कहा कि भारत बंद के दौरान जनता को हुई परेशानी के लिए वो उनसे माफी मांगते हैं, लेकिन इसकी जिम्मेदार सरकार है.

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इसके अलावा करनाल में भी किसानों ने भारत बंद के दौरान सड़कें जाम की. साथ ही किसानों ने करनाल जिले में भाजपा का जिला कार्यालय व वार्ड नं-7 के उपचुनाव के लिए आज ही खोले गए चुनावी कार्यालय को बन्द करवाया. इसके अलावा किसानों ने बीजेपी कार्यालय के बाहर सड़कों पर लगे भाजपा के झंडों को उतारकर उनमें आग लगा दी.

करनाल में किसानों ने बीजेपी का झंडा जलाया

किसानों द्वारा बुलाए गए भारत बंद का जहां हर तरफ पूरे हरियाणा में असर देखने को मिला. वहीं चंडीगढ़ में भारत बंद का कोई खास असर नजर नहीं आया. यहां सेक्टर-17 मार्केट में दुकानें खुली रही. हालांकि दुकानों पर ग्राहकों की ज्यादा भीड़ नहीं देखी गई. वहीं चंडीगढ़ की पंजाब, हरियाणा और हिमाचल से सटी सीमाओं पर पुलिस के व्यापक इंतजाम किए गए थे. किसान संगठनों ने शहर के अंदर आने वाले ज्यादातर मार्गों को बंद किया हुआ था. जिसकी वजह से लोग चंडीगढ़ शहर के अंदर दाखिल नहीं हो पा रहे थे.

चंडीगढ़ में नहीं दिखा कोई असर

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