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कृषि कानूनों के विरोध में इनेलो, अभय चौटाला बोले- मैं होता तो दे देता इस्तीफा - अभय चौटाला दुष्यंत चौटाला

अभय चौटाला ने अगर मुझे किसी ने आकर कहा होता तो मैं इस्तीफा देने में देरी नहीं करता, क्योंकि मेरे लिए मेरी कौम यानी कि किसान सबसे पहले हैं.

abhay chautala press conference in chandigarh
'मैं होता तो दे देता इस्तीफा, राजनीति से पहले है मेरी कॉम'

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Published : Oct 1, 2020, 2:01 PM IST

चंडीगढ़:नए बने कृषि कानूनों के विरोध में गुरुवार को इनेलो नेता औरपूर्व नेता प्रतिपक्ष अभय चौटाला ने चंडीगढ़ में प्रेस कॉन्फ्रेंस की. इस दौरान अभय चौटाला ने कई मुद्दों पर सरकार को घेरा. अभय चौटाला ने कहा कि वो आखिरी वक्त तक किसानों के साथ खड़े रहेंगे.

प्रेस कॉन्फ्रेंस की शुरुआत अभय चौटाला ने पिपली में हुए लाठीचार्ज से की. उन्होंने कहा कि किसान अपनी बात रखने के लिए पिपली में इकट्ठा हो रहे थे, लेकिन उनकी बात सुनने की बजाए सरकार ने उनपर लाठियां चला दी. वहीं कृषि कानून पर अभय चौटाला ने कहा कि जब अध्यादेश लाए गए थे, तभी उन्होंने इसे किसान विरोधी बताया था. अगर हरियाणा सरकार केंद्र तक किसानों की बात पहुंचाना चाहती तो इस पर विचार किया जा सकता था.

कृषि कानूनों के विरोध में इनेलो, अभय चौटाला बोले- मैं होता तो दे देता इस्तीफा

वहीं सरकारी खरीद पर निशाना साधते हुए अभय चौटाला ने कहा कि प्रदेश सरकार पहले दिन से कह रही है कि किसान का एक-एक दाना खरीदा जाएगा. ना तो सरकारी खरीद हो रही है और ना ही किसानों को एमएसपी दी जा रही है.

वहीं सीएम पर निशाना साधते हुए अभय चौटाला ने कहा कि सीएम ने कहा था कि वो मंत्रियों और विधायकों की ड्यूटी लगाएंगे ताकि मंडियों में किसान की फसल की अनदेखी न हो, लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं है. अभय ने सीएम से सवाल पूछा कि क्या सीएम सुर्खियों में रहने के लिए ऐसे बयान देते हैं?

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दुष्यंत चौटाला के इस्तीफा देने वाले बयान पर तंज कसते हुए अभय चौटाला ने कहा कि मुझे नहीं लगता कि वो इस्तीफा देंगे, क्योंकि उससे पहले खुद लोग ही उन्हें बाहर कर देंगे. अगर मुझे किसी ने आकर कहा होता तो मैं इस्तीफा देने में देरी नहीं करता, क्योंकि मेरे लिए मेरी कॉम यानी कि किसान सबसे पहले हैं. अभय चौटाला ने आगे कहा कि जेजेपी सरकार के साथ नहीं बल्कि कुर्सी के साथ है. उन्होंने देवी लाल की कुर्सी को न केवल गिरवी रखा है बल्कि ठेस भी पहुंचाई है.

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