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भिवानी की कुमुद को माइक्रोसाॅफ्ट ने दिया नौकरी का ऑफर, 51 लाख रुपये सालाना सैलरी

भिवानी की छोरी को अमेरिका की दिग्गज माइक्रोसाॅफ्ट टेक कंपनी ने नौकरी का (Microsoft job offer to Bhiwani girl) ऑफर दिया है. माइक्रोसाॅफ्ट ने कुमुद शांडिल्य को ये प्रस्ताव दिया है. जिसके तहत कंपनी 51 लाख रुपए प्रति वर्ष देगी.

Microsoft job offer to Bhiwani girl
भिवानी की कुमुद को माइक्रोसाॅफ्ट ने दिया नौकरी का ऑफर

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Published : Jul 31, 2022, 9:22 PM IST

भिवानीः म्हारी छोरियां खेलों में ही आगे नहीं हैं. पढ़ाने लिखने में भी आगे हैं. ये साबित किया है ढाणी रायसिंह की रहने वाली कुमुद शांडिल्य (Microsoft job offer to Bhiwani girl) ने जिन्हें अमेरिका की दिग्गज टेक कंपनी माइक्रोसाॅफ्ट ने नौकरी का न्यौता दिया है. कुमुद अभी एनआईटी कुरूक्षेत्र में कंप्यूटर इंजीनियरिंग कर रही है और इसे ऑफर से वो बेहद खुश है. उसके परिजन भी कंपनी से मिले ऑफर से उत्साहित हैं.

कुमुद के पिता प्रवीण शर्मा ने बताया की प्री नर्सरी से 9 वीं कक्षा तक हमेशा वो प्रथम रही है. 2016 में हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड के 10वीं के परीक्षा में वो प्रदेश के 10 प्रतिभावान विद्यार्थियों में थी. साल 2018 में उसने 12वीं की परीक्षा दी जिसमें मेडिकल व गणित विषय में पूरे जिले में (Kumud got job offer from Microsoft) प्रथम स्थान प्राप्त किया. 12 वीं अच्छे नंबर से पास करने के बाद कुमुद को दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रतिष्ठित काॅलेज मिरांडा हाउस, आईआईटी रूड़की तथा एमबीबीएस में भी दाखिला मिला गया था.

लेकिन कुमुद की रूचि कंप्यूटर इंजीनियरिंग में थी इसलिए उसने एनआईटी कुरूक्षेत्र में दाखिला लिया. एनआईटी से वो बीटेक कर रही है और अभी तक के सेमेस्टर में भी उसने अच्छे नंबर लिए हैं. कुमुद इस ऑफर से उत्साहित है लेकिन उसका सपना यूपीएसएसी की परीक्षा पास कर आईएएस बनने का है. उसने बताया कि आईएएस बन कर वो समाज के लोगों की सेवा करना चाहती है.

कुमुद माइक्रोसाॅफ्ट (Microsoft Tech Company) ज्वाईन करेगी या नहीं अभी इसके बारे में उसने कुछ नहीं बताया है. कुमुद के पिता कुरूक्षेत्र के ही सरकारी विद्यालय में अध्यापक हैं. उसकी दादी और मां ने बताया कि उन्होंने अपनी बेटी को पढ़ने लिखने की पूरी आजादी दे रखी थी जिसका फल आज मिला है. कुमुद की इस सफलता से उन मां बाप को प्रेरणा लेने की जरूरत है जो अपनी बेटियों को पढ़ने स्कूल और काॅलेज नहीं जाने देते हैं.

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