भिवानी: भारतीय मजदूर संघ हरियाणा के आह्वान पर 21 मार्च को पंचकूला में होने वाले प्रदर्शन व मुख्यमंत्री आवास घेराव को लेकर कर्मचारियों ने कमर कस ली है. विभिन्न मांगों को लेकर अनुबंधित कर्मचारी सीएम आवास का घेराव करेंगे. इस दौरान भारतीय मजदूर संघ से संबंधित अनुबंधित व कच्चे कर्मचारियों के संघ व महासंघ की मांगों लेकर हरियाणा सरकार के खिलाफ प्रदेश स्तरीय विरोध प्रदर्शन किया जाएगा. पंचकूला में कर्मचारियों का विरोध प्रदर्शन में 50 हजार से ज्यादा कर्मचारी शामिल होंगे. भारतीय मजदूर संघ के जिला प्रेस प्रवक्ता पवन कौशिक ने यह जानकारी दी है.
जिला प्रेस प्रवक्ता पवन कौशिक ने कहा कि 13 अक्टूबर 2022 को मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में हुई बैठक में कर्मचारियों के हितों को लेकर 2 दर्जन से अधिक मांगों पर सहमति बनी थी लेकिन हरियाणा सरकार के अधिकारियों के ढुलमुल रवैया के कारण उनके पत्र व नोटिफिकेशन जारी नहीं हुए हैं. जिसको लेकर हरियाणा प्रदेश के हजारों कर्मचारियों में रोष व्याप्त है और इसी के तहत भारतीय मजदूर संघ ने कर्मचारी हितों को देखते हुए विरोध प्रदर्शन करने का फैसला लिया है.
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कौशिक ने कहा कि भारतीय मजदूर संघ अपने कर्मचारियों के लिए कभी भी आंदोलन से पीछे नहीं हटा है. उन्होंने पहले भी बड़े-बड़े आंदोलन करके हरियाणा प्रदेश से ठेका प्रथा को समाप्त करवाया है. जो लोग केवल कर्मचारियों को झूठे सपने दिखाते थे और हजारों कर्मचारी, ठेकेदारों के हाथों शोषण का शिकार थे. आज वे समय पर वेतनमान के साथ-साथ अन्य लाभ प्राप्त कर रहे हैं. भारतीय मजदूर संघ हमेशा रोजगार सुरक्षा व सामाजिक सुरक्षा की बात राष्ट्रीय पटल पर करता आया है. पवन कौशिक ने कहा कि उनके द्वारा 36 सूत्रीय मांग पत्र हरियाणा सरकार को भेजा गया है.
जिसमें से सामूहिक मांगों के साथ-साथ अन्य संगठनों से संबंधित मांग पत्र को भेजते हुए हरियाणा सरकार से मांग की गई है कि सभी कच्चे कर्मचारियों को पक्का किया जाए. उन्होंने कर्मचारियों की नियमित भर्ती करने की मांग करते हुए कहा कि कौशल रोजगार निगम हरियाणा के पूरे वेतन पर कर्मचारियों का ईपीएफ काटा जाना चाहिए. इसके साथ ही निजीकरण, आउटसोर्सिंग वर्क आर्डर पर तुरंत प्रभाव से रोक लगाई जानी चाहिए. उन्होंने कहा कि सभी योजना कर्मचारियों को सरकारी कर्मचारी घोषित किया जाए और असंगठित क्षेत्र के कामगारों को सामाजिक सुरक्षा प्रदान की जाए.
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संघ ने सभी कर्मचारियों को सरकार के नियमानुसार 58 व 60 वर्ष तक रोजगार सुरक्षा देने की भी मांग की है. संघ ने वेतन आयोग की विसंगतियां दूर करने और कर्मचारियों को समान काम-समान वेतनमान देने की मांग की है. उन्होंने कहा कि संघ व महासंघ की मांगों को लागू करने के लिए सरकार के पास भेजा गया है. कौशिक ने कहा कि जिला में वित्तीय ठेका कर्मचारी संघ, अनुबंधित बिजली विभाग, अनुबंधित स्वास्थ्य कर्मचारी संघ, ग्रामीण ट्यूबवेल ऑपरेटर, ग्रामीण सफाई कर्मचारी संघ, कंप्यूटर प्रोफेशनल, कंप्यूटर टीचर, लैब अटेंडेंट आदि एक दर्जन से ज्यादा यूनियन के पदाधिकारियों से तैयारियों की समीक्षा विचार विमर्श किया गया.